चेन्नई; केरल और कर्नाटक में भारी बारिश के चलते केंद्रीय जल आयोग (सीडब्ल्यूसी) ने तमिलनाडु के 11 जिलों को सतर्क कर दिया है. बुधवार रात को ही मेट्तूर बांध स्थित स्टेनली रिजर्वोइयर में 1.90 लाख क्यूसेक का जल प्रवाह देखा गया, जो कि इस साल में सबसे ज्यादा था. अधिकारीयों का कहना है कि जिस तरह कर्नाटक और केरल में बारिश हो रही है, उससे मेट्तूर बांध में 2.01 लाख क्यूसेक पहुँचने की सम्भावना है. केरल में पानी निगल रहा जिंदगियां, अब तक 167 की मौत हज़ारों बेघर अधिकारीयों ने कहा है कि ये पानी दो दिन में मेट्तूर बांध में पहुँच सकता है. अधिकारीयों ने ये भी कहा कि तमिलनाडु के भी कई दक्षिणी जिले पूरी तरह से बाढ़ की चपेट में आ सकते हैं, क्योंकि अधिकतर सभी बांधों का जलस्तर अपने चरम तक पहुँच चुका है. वहीं जिलाधिकारियों ने तमिलनाडु के निचले इलाकों को मेट्तूर, भवानी सागर और अमरावती बांधों में पानी बढ़ जाने से उत्पन्न होने वाली समस्या से निपटने के लिए उचित प्रयास करने के निर्देश दिए हैं. बाढ़ पीड़ितों का दर्द बाटने आज केरल जायेंगे नरेंद्र मोदी बाढ़ की आशंका को देखते हुए तमिलनाडु प्रशासन ने सेलम, इरोड और नम्माकल जिलों के निचले इलाकों में रहने वाले 300 से ज्यादा लोगों को राहत शिविर में पहुंचा दिया है. साथ ही प्रशासन ने सेलम, इरोड, नमक्कल, करूर, त्रिची, थंजावुर, तिरुवरुर, नागपट्टिनम, कृष्णागिरी, धर्मपुरी और अरियालुर जिलों में बाढ़ की चेतावनी जारी कर दी है. खबरें और भी:- केरल में बाढ़: बाढ़ ने लिया रौद्र रूप बस सेवाएं ठप, कई जगह रेड अलर्ट केरल के लिए राहुल ने मांगी मदद, पीएम मोदी को किया फ़ोन केरल : बाढ़ से हालात हुए गंभीर, मरने वालों की संख्या में हुई बढ़ोतरी