लखनऊ में एक नया मेहमान आने की उम्मीद बनी हुई है. अगर यह मेहमान आया तो किसी की तनहाई को दूर करेगा लखनऊ के चिड़ियाघर में इनदिनों कोई अकेला है. उसका अकेलापन 29 जनवरी 2014 से हैं तबसे वह खाती, पीती हैं परंतु खुश नहीं है. हम बात कर रहे हैं लखनऊ के चिड़ियाघर में मौजूद सुजाता की. सुजाता एक मादा जिराफ है जिसका साथी 2 वर्ष पूर्व उसे छोड़कर चला गया था. हार्ट अटैक के कारण नर जिराफ अनुभव की मृत्यु हो गई थी. तब से आज तक सुजाता को कोई साथी नहीं मिला है. इन दोनों की एक संतान खुशी भी है जो इस समय मैसूर चिड़ियाघर में है. इसके अलावा इन दोनों का कोई भी बच्चा जीवित नहीं बचा. चिड़ियाघर की अधिकारियों के मुताबिक मादा जिराफ सुजाता के लिए नर की खोज कोलकाता सहित देश नहीं बल्कि विदेश के भी कई चिड़ियाघरों में की जा रही है. सब कुछ सही रहा तो लखनऊ में जिराफ की जोड़ी एक बार फिर सभी को नजर आएगी.