मप्र में सरकार को चना तौलकर भुगतान के लिए भटकता किसान

श्योपुर: प्रदेश के 600 से ज्यादा किसान  समर्थन मूल्य पर चना बेचने के बाद सोसायटी और बैंक में डेली हाजरी देने आ रहे है क्योकि भुगतान हो तो सोयाबीन की फसल के लिए बीज खाद के इंतजाम करने के बाद आगामी फसल की सुध ले. चने की खरीदी समर्थन मूल्य पर 15 अप्रैल से लेकर 9 जून की गई और इस दौरान सरकार ने श्योपुर के 9 हजार 542 किसानों से 28 हजार 759 मीट्रिक टन चना ख़रीदा जिसका कुल दाम 126 करोड़ रुपए होता है. चना बिकने के 7 दिन के भीतर में पूरा भुगतान के नियम का ठींढोरा पीटने वाली सरकार 9 जून जो खरीदी का अंतिम दिन था के बाद दिन गिनना ही भूल गई. 600 से ज्यादा किसानों के 27 करोड़ रुपए अटके पड़े है और किसान चक्कर खा रहे है. 

किसान मोर्चा के जिला अध्यक्ष महावीर सिंह मीणा ने मुख्यमंत्री को किसानों के 27 करोड़ रुपए का भुगतान न होने और 160 क्विंटल से ज्यादा चना बेचने वाले किसानों के भुगतान की समस्या से अवगत करवाया है. मीणा ने बताया कि, सीएम ने इस समस्या को जल्द हल करने का भरोसा दिया है 

चने की खरीदी में भी किसानों को कई तरह की समस्या का सामना करना पड़ा है और किसान खरीदी से जुड़े नियमों में उलझ कर रह गया है. सूबे में बाकि जिलों में भी चने की खरीदी और भुगतान से किसान के परेशान होने की ख़बरें है. ये ख़बरें सरकार के उस दावे की पोल भी खोल रही है जिसमे वो हमेशा किसान के साथ खड़े होने और किसान की चिंता करने का दावा करती रहती है .

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