चेन्नई: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान मद्रास के भोजनालय में शाकाहारी और मांसाहारी छात्रों के लिए अलग-अलग प्रवेश और निकास द्वार तथा अलग-अलग वाश बेसिन संबंधी पोस्टर चिपकाये जाने के बाद विवाद उत्पन्न हो गया है और कुछ विद्यार्थियों ने भेदभाव का आरोप लगाया है। जानकारी के अनुसार बता दें कि सोशल मीडिया पर कुछ छात्रों द्वारा साझा की जा रही तस्वीरों में भोजनालय के द्वारों के समीप चिपकाए गए इन पोस्टरों में एक स्थानीय कैटरर का नाम भी है। अब रायबरेली फैक्ट्री से दूसरे देशों में भी होगा रेलवे कोच का निर्यात वहीं बता दें कि संस्थान के एक अधिकारी ने इस संबंध में अनभिज्ञता प्रकट की और कहा कि यदि ऐसे पर्चे सही में मिले तो उन्हें हटा दिया जाएगा। इसके साथ ही बता दें कि एक विद्यार्थी ने कहा कि हिमालय मेस भोजनालय परिसर के दूसरे तल पर उत्तर भारतीय मेस के दो प्रवेश द्वारों के समीप ये पोस्टर चिपकाए गए हैं। इसके साथ ही बता दें कि उनमें शााकाहारी और मांसाहारी छात्रों के लिए अलग अलग प्रवेश द्वार और वाशबेसिन इंगित किए गए हैं। हिमालय से आ रही ठंडी हवाओं ने बढ़ाई ठिठुरन गौरतलब है कि सोशल मीडिया पर साझा की गई तस्वीर में एक पोस्टर में लिखा है शाकाहारी छात्र हैंड वाश, दूसरे पोस्टर में शीतकालीन मेस- भोजन प्रबंधन. मांसाहारी विद्यार्थियों के लिए प्रवेश/निकास, इसके साथ ही बता दें कि इस संबंध में संपर्क करने पर आईआईटी एम की मेस निगरानी एवं नियंत्रण समिति के एक अधिकारी ने बताया कि उन्हें पोस्टरों की जानकारी नहीं है। वहीं उन्होंने कहा कि जैन भोजन बिना लहसुन प्याज के तैयार करने की व्यवस्था तो की गयी है लेकिन वह शाकाहारी और मांसाहारी के आधार पर भेदभाव संबंधी इंतजाम से अनभिज्ञ हैं। खबरें और भी उत्तराखंड: उच्च हिमालयी क्षेत्रों में हिमस्खलन की चेतावनी राफेल डील को लेकर पर सुप्रीेम कोर्ट के आए फैसले पर दसॉ ने कहा- एविएशन मेक इन इंडिया को स्थापित करने के लिए समर्पित वित्तमंत्री ने बताए आंकड़े, विलफुल डिफॉल्टरों के खिलाफ 2500 एफआइआर हुई दर्ज