इस्लामाबाद: पाकिस्तान के लाहौर स्थित ऐतिहासिक किले में 19वीं सदी के आरंभ में पंजाब पर लगभग 40 साल हुकूमत करने वाले महाराज रणजीत सिंह की आदम कद प्रतिमा का गुरुवार को उद्घाटन किया गया। यह उद्घाटन उनकी 180वीं बरसी के अवसर पर किया गया है। अपने पसंदीदा घोड़े पर बैठे सिख शासक की आठ फुट ऊंची प्रतिमा को निर्मित करने में आठ माह लग गए। इस घोड़े को बाराज़कई वंश के संस्थापक दोस्त मुहम्मद खान ने उन्हें तोहफे में दिया था। प्रतिमा को एक विशेष समारोह के दौरान लाहौर किले में माई जिंदन हवेली की सिख गैलरी में स्थापित किया गया। इस समारोह में आला पाकिस्तानी अधिकारियों ने शिरकत की। इस हवेली का नाम रणजीत सिंह की सबसे आयु उम्र की रानी के नाम पर रखा गया है है। सिख हेरिटेज फाउंडेशन के अध्यक्ष बॉबी सिंह बंसल ने जानकारी देते हुए बताया है कि प्रतिमा का वजन तक़रीबन 250-330 किलोग्राम है। इसे 85 फीसद कांस्य, पांच फीसद टिन, पांच फीसद सीसा और पांच फीसद जिंक से बनाया गया है। आपको बता दें कि पाकिस्तान ने महाराज रणजीत सिंह की पुण्यतिथि पर कई भारतीय सिख श्रद्धालुओं को वीजा भी जारी किए थे। इसके तहत 463 भारतीय सिख यात्रियों महाराजा रणजीत सिंह की पुण्यतिथि के लिए 27 जून से छह जुलाई तक पाकिस्तान की यात्रा पर रहेंगे। G-20 समिट में पहुँच रहे थे ये राष्ट्रपति, काफिले से बरामद हुई 39 किलो कोकेन ! पीएम मोदी ने डोनाल्ड ट्रम्प से की द्विपक्षीय वार्ता, इन मुद्दों पर हुई चर्चा जापान में बोले पीएम मोदी, कहा- आतंकवाद मानवता के लिए सबसे बड़ा खतरा