यूँ तो अमावस्या हर माह में एक बार आती है.लेकिन कल 13 जून को अधिक मास की अमावस्या है .इसलिए इस अमावस्या का महत्व और बढ़ गया है.अमावस्या तिथि पितरों की मानी गई है. इसलिए इस दिन पितरों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध, तर्पण करने से पितरों को शांति मिलती है. इन सात उपायों से पितृ दोष को कम किया जा सकता है. पितृ दोष दूर करने के उपाय : 1. अधिक मास की अमावस्या पर किसी पवित्र नदी में काले तिल डालकर तर्पण करने से पितृगण खुश होते हैं. 2. कहते हैं पीपल में पितरों का वास होता है.इसलिए अधिक मास की अमावस्या पर पीपल के पेड़ पर जल चढ़ाएं और गाय के शुद्ध घी का दीपक लगाएं. इससे पितरों की आत्मा को शांति मिलती है. 3. अधिक मास की अमावस्या पर किसी ब्राह्मण को भोजन के लिए घर आमंत्रित कर उन्हें या भोजन या कच्ची सामग्री जिसमें आटा, फल, गुड़ आदि हो, दान करने से भी लाभ होता है. 4. अधिक मास की अमावस्या पर अपने पितरों का स्मरण कर गाय को हरा चारा खिलाएं इससे भी पितृ प्रसन्न व तृप्त हो जाते हैं. 5. इस अमावस्या पर चावल के आटे से 5 पिंड बनाकर इसे लाल कपड़े में लपेटकर नदी में बहा दें .इससे भी पितृ दोष दूर होते हैं. 6. अमावस्या पर गाय के गोबर से बने कंडे को जलाकर उस पर घी-गुड़ की धूप दें और पितृ देवताभ्यो अर्पणमस्तु बोलें. इससे पितरों को शांति मिलती है. 7. इस अमावस्या पर कच्चा दूध, जौ, तिल व चावल मिलाकर सूर्योदय के समय नदी में प्रवाहित करें. इस उपाय से भी पितृ दोष कम किया जा सकता है. यह भी देखें क्या आप भी लगाते है घर में भगवान की तस्वीरें? इस भगवान के मंदिर में ताली बजाने से होता है नुकसान