शनिदेव ने अपने सिर स्वर्णमुकुट, गले में माला तथा शरीर पर नीले रंग के वस्त्र धारण किया हुआ है. वह गिद्ध पर सवार रहते हैं. शनि के हाथों में धनुष, बाण, त्रिशूल देखने को मिलता है. शनि को 33 देवताओं में से एक भगवान सूर्य का पुत्र माना गया है. उनकी बहन यमुना के नाम पर ही यमुना नदी का नाम रखा गया है. कहते है शनि जिसपर प्रशन्न हो जाएं उसे हर मामले में मालामाल कर देते है लेकिन शनि को कुछ बातें बिलकुल पसंद नहीं आती. आज हम आपको कुछ ऐसी ही बातों के बारे में बताने जा रहे है जिनसे शनि रूठ जाते है. मान्यता है कि सूर्य राजा, बुध मंत्री, मंगल सेनापति, शनि न्यायाधीश और राहु-केतु प्रशासक हैं. इसी प्रकार गुरु अच्छे मार्ग के प्रदर्शक, चंद्र माता और मन का प्रदर्शक, शुक्र है- पति के लिए पत्नी और पत्नी के लिए पति तथा वीर्य बल. शनि को पसंद नहीं है जुआ-सट्टा खेलना, शराब पीना, ब्याजखोरी करना, परस्त्री गमन करना, अप्राकृतिक रूप से संभोग करना, झूठी गवाही देना, निर्दोष लोगों को सताना. शनि को पसंद नहीं है किसी के पीठ पीछे उसके खिलाफ कोई कार्य करना, चाचा-चाची, माता-पिता, सेवकों और गुरु का अपमान करना, ईश्वर के खिलाफ होना, दांतों को गंदा रखना, तहखाने की कैद हवा को मुक्त करना, भैंस या भैसों को मारना, सांप, कुत्ते और कौवों को सताना आदि. इसलिए है हिन्दू धर्म में काली माँ इतना महत्व आप भी जानें, छींक कब शुभ होती है और कब अशुभ