वाशिंगटन: वैक्सीन निर्माता कंपनी Moderna ने दावा किया है कि उसका कोविड-19 रोधी टीका वयस्कों के साथ ही उन बच्चों पर भी असरदार है ,जो 12 साल के हो चुके हैं। इसके साथ ही यह वैक्सीन इस आयुवर्ग के लिये अमेरिका में वैक्सीन का दूसरा विकल्प बनने की राह पर है। दरअसल टीकों की वैश्विक आपूर्ति की कमी अब भी बरकरार है और विश्व के ज्यादातर देश महामारी के शमन के लिये वयस्कों के टीकाकरण में संघर्ष कर रहे हैं। अमेरिका और कनाडा ने हालांकि इस माह की शुरुआत में एक अन्य वैक्सीन- फाइजर और बायोएनटेक द्वारा निर्मित- को 12 साल के आयुवर्ग से अधिक की आयु के लोगों को देने की मंजूरी दी थी। Moderna इस मंजूरी के लिए कतार में है और उसने कहा कि वह अगले महीने की शुरुआत में किशोरों से जुड़े अपने आंकड़ों को अमेरिकी खाद्य एवं औषध प्रशासन तथा अन्य वैश्विक नियामकों को सौंपेगा। कंपनी ने 12 से 17 वर्ष के आयुवर्ग के 3700 बच्चों पर रिसर्च की है। शुरुआती परिणामों में नजर आया कि टीका वयस्कों की तरह ही किशोरों के प्रतिरोधी तंत्र की सुरक्षा पर काम करता है और बांह में सूजन, सिरदर्द और थकान जैसे उसी तरह के अस्थायी दुष्प्रभाव भी दिखाई देते हैं। Moderna वैक्सीन की दो खुराक लेने वालों में कोविड-19 नहीं मिला जबकि जिन बच्चों को डमी टीके लगाए गए थे, उनमें चार केस मिले। कंपनी ने एक प्रेस रिलीज़ में कहा कि पहली खुराक दो हफ्तों बाद 93 प्रतिशत असरदार रही। 50 प्रतिशत अमेरिकी वयस्कों का हुआ पूर्ण टीकाकरण: व्हाइट हाउस कोरोना महामारी के दौरान भी बुलंदी पर है मुकेश अंबानी, प्रति घंटे कमाए 90 करोड़ रुपये यूरोप और रूस के बीच मुश्किल हो गया आर्थिक सहयोग: Ursula Leyen