नई दिल्ली: कभी हाॅकी के खिलाड़ियों को हाॅकी के गुर सीखाने वाले को अपनी और अपने परिवार की जिंदगी बसर करने के लिये कपड़े बेचने पड़ रहे है। इसके पीछे कारण सरकारी उपेक्षा तो है ही, उसकी किस्मत का भी यह खेल ही कहा जायेगा कि उसकी सुनवाई न तो किसी जनप्रतिनिधि ने की और न ही किसी अधिकारी ने उसकी समस्या पर ध्यान दिया। चुकी जीवन चलाना है, इसलिये यूपी के गोरखपुर जिले में ये साईकिल पर घूमते हुये कपड़े बेच रहे है। जिस व्यक्ति की बात यहां हो रही है उनका नाम है मोहम्मद इमरान। इमरान वो हाॅकी कोच रहे है, जिन्होंने अपने अनुभव का फायदा कई हाॅकी खिलाड़ियों को दिया है। हाॅकी के गुर सीखाने के लिये न तो उन्होंने कभी धन का लालच किया और न ही अपने नाम की पहचान बनने का ही प्रयास किया। लेकिन अब उन्हें अपना जीवन गुजारने के लिये सडकों पर घूमते हुये कपड़े बेचने पड़ रहे है। मोहम्मद स्वयं भी हाॅकी के अच्छे खिलाड़ी रहे है। खुल्लर भी रही शिष्या- मोहम्मद इमरान ने जिन खिलाड़ियों को हाॅकी में दक्ष किया, उनमें निधि खुल्लर भी शामिल है। वे भारतीय महिला हाॅकी टीम की उप कप्तान है। उनके अलावा रजनी चैधरी, संजीव ओझा, प्रतिमा चैधरी, रीता पांडे और जनार्दन गुप्ता जैसे अनेक खिलाड़ियों को भी इमरान ने ही हाॅकी के गुर सीखाकर श्रेष्ठ खिलाड़ियों में शूमार किया है। बताया गया है कि सरकार की ओर से उन्हें एक हजार रूपये बतौर पेंशन दी जा रही है लेकिन इस महंगाई के जमाने में एक हजार रूपये में घर कैसे चलाया जा सकता है, इसलिये उन्होंने सड़कों पर कपड़े बेचना ही उचित समझा। 35 साल बाद भारतीय महिला हाॅकी दल ने किया ओलिंपिक के...