मुंबई: महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री नारायण राणे ने अपने दोनों बेटों नीलेश, नीतेश के साथ भाजपा का दामन थम लिया है. इसी के साथ उनकी पार्टी स्वाभिमान पक्ष का विलय भी कणकवली में सीएम देवेंद्र फडणवीस की उपस्थिति में भाजपा में हो गया है. काफी समय से नारायण राणे के भाजपा में शामिल होने की बात चल रही थी, किन्तु शिवसेना के विरोध के चलते मामला टलता जा रहा था। दरअसल राणे शिवसेना छोड़कर कांग्रेस में चले गए थे और तभी से शिवसेना और नारायण राणे के बीच छत्तीस का आंकड़ा था। राणे ने बाद में कांग्रेस भी छोड़ दी और अपनी पार्टी स्वाभिमान पक्ष का गठन किया था। हालांकि पिछले लोकसभा चुनाव और विधानसभा चुनाव में बाप-बेटे दोनों को शिकस्त का सामना करना पड़ा था। नारायण राणे खुद कुडाल सीट से चुनाव हार गए थे. तभी से वे अपने राजनीतिक अस्तित्व के लिए लड़ रहे थे। शिवसेना और भाजपा दोनों गठबंधन कर चुनाव लड़ रही हैं, इसलिए शिवसेना को राणे का भाजपा में शामिल होना पसंद नहीं था। गठबंधन के बाद भी शिवसेना ने कणकवली सीट से नारायण राणे के बेटे नीतेश के विरुद्ध सतीश सावंत को चुनावी संग्राम में उतारा है। इस सीट पर नीतेश राणे भाजपा के अधिकृत प्रत्याशी है। वहीं नारायण राणे को भाजपा ने अपने कोटे से राज्यसभा में भेजा है। पी चिदंबरम की जमानत याचिका पर बुधवार को भी जारी रहेगी सुनवाई VIDEO: डेंगू मरीजों का हाल जानने पहुंचे केन्द्रीय मंत्री अश्विनी चौबे पर छात्र ने फेंकी स्याही अयोध्या मामले पर CJI गोगोई ने दोहराई अपनी बात, कहा- कल सुनवाई का अंतिम दिन