शिलोंग : राष्ट्रीय हरित अधिकरण ने मेघालय सरकार पर 100 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। सरकार पर ये जुर्माना अवैध खनन पर रोक लगाने में नाकाम होने के चलते लगाया गया है। खदान मामले में अधिकरण की सहायता कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता ने कहा कि उच्च स्तरीय समिति की रिपोर्ट 2 जनवरी को एनजीटी अध्यक्ष की अध्यक्षता वाली बेंच को सौंप दी गई है। मेघालय खदान मामले में सुप्रीम कोर्ट ने दिया अल्टीमेटम, कहा 7 जनवरी तक रिपोर्ट जमा करे सरकार कई अवैध खदान हो रही है संचालित सूत्रों से मिली जानकारी अनुसार मेघायलय में अधिकतर खदानों में बिना किसी लीज और लाइसेंस के संचालन चल रहा है। ये जुर्माना उत्तर पूर्वी राज्य में अवैध खनन पर रोक न लगा पाने के कारण लगाया गया है। सुनवाई के दौरान वकील ने कहा कि राज्य सरकार ने ये बात मानी है कि बड़ी संख्या में खदानों का अवैध तरीके से संचालन हो रहा है। मेघालय खदान मामले में भड़की सुप्रीम कोर्ट, पुछा अब तक क्यों नहीं बचाए गए मजदूर ? हो चुकी है घटना जानकारी के लिए बात दें कुछ दिनों पूर्व एक अवैध खदान में एक नदी का पानी आ जाने के कारण 15 लोग 13 दिसंबर से फंसे हुए हैं। उन लोगों को निकालने के लिए कई एजेंसियां काम कर रही हैं। लेकिन अभी तक एक भी मजदूर के बारे में कुछ पता नहीं चल पाया है। 14 दिसंबर की शाम को अवैध खनन के मालिक को भी गिरफ्तार किया जा चुका है। मजदूरों के रेस्क्यू ऑपरेशन में अभी तक सरकार के 50 लाख रुपये खर्च हो चुके हैं। मेघालय खदान में फंसे मजदूरों के मामले पर आज सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट मेघालय : कोयला खदान मामले में कल सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट मेघालय कोयला खदान मामला: किसी अच्छी खबर की उम्मीद नहीं, पीड़ितों के परिजनों को पहुंचे चेक