पटना: बिहार सरकार के मंत्रियों के विभाग का बंटवारा हो चुका है। आप जानते ही होंगे बिहार में एक बार फिर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बने हैं। ऐसे में वह अपने पास गृह और प्रशासनिक विभाग रखे हुए हैं। वहीं उन्होंने डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद के पास वित्त, शहरी विकास के साथ-साथ आईटी और पर्यावरण विभाग दे दिए हैं। इसी के साथ उन्हें सुशील मोदी वाले भी सारे विभाग सौंपे जा चुके है। अब इसी बंटवारे को लेकर एक विवाद शुरू हो चुका है। जी दरअसल, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जेडीयू कोटे से मेवालाल चौधरी को मंत्री बनाया है। आपको बता दें कि मेवालाल वही हैं जिन पर असिस्टेंट प्रोफेसर की भर्ती में धांधली का आरोप लगाया गया है। केवल आरोप ही नहीं बल्कि उन पर तो केस भी दर्ज है और उन्हें जेडीयू से बाहर भी किया जा चुका था। उनका मामला कोर्ट में चल रहा है लेकिन इसके बाद भी नीतीश कुमार ने मेवालाल को मंत्री बनाया है और शिक्षा मंत्रालय की अहम जिम्मेदारी तक दे दी है। अब इसी पर तंज कसते हुए राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) ने ट्वीट किया है। उन्होंने ट्वीट कर कहा है, 'जिस भ्रष्टाचारी जेडीयू विधायक को सुशील मोदी खोज रहे थे, उसे भ्रष्टाचार के भीष्म पितामह नीतीश कुमार ने मंत्री पद से नवाजा। यही है 60 घोटालों के संरक्षणकर्ता नीतीश कुमार का दोहरा चरित्र। यह आदमी कुर्सी के लिए किसी भी निम्नतम स्तर तक गिर सकता है।' जी दरअसल बिहार के नए शिक्षा मंत्री मेवालाल चौधरी के सबौर कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति रहते सहायक प्रोफेसरों की नियुक्ति में भ्रष्टाचार का आरोप है। वह साल 2010-15 के बीच में सबौर कृषि विवि में वाइस चांसलर थे और इस मामले में उनपर एफआईआर भी दायर हुई थी। पंजाब में 'एकला चलो रे' की राह पर भाजपा, 24 साल बाद अकेले लड़ सकती है चुनाव शर्त जीतने के लिए युवक ने मुंह में फोड़ा बम, टूटे दांत-फटे होंठ और जल गया चेहरा बंगाल भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष बोले- भाड़े के सैनिक से युद्ध जीतना चाहती है TMC