भोपाल : मोदी सरकार की नोटबंदी को लेकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान भले ही तारीफ के पुल बांधते हो या प्रदेश की जनता को होने वाली परेशानी को नहीं आंक रहे हो, परंतु नोटबंदी का असर उनके सरकारी खजाने पर जरूर होने की जानकारी सामने आई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार शिवराज सरकार को कोई 275 करोड़ रूपये का घाटा हो चुका है। यह घाटा शराब की बिक्री कम होने से तो हुआ ही है वहीं जमीनों व मकानों की रजिस्ट्री में भी कमी आने से सरकारी खजाना खाली-खाली हो गया है। प्रदेश के वित्त मंत्री जयंत मलैया ने घाटा होने की बात स्वीकार की है। उन्होंने शराब बिक्री तेजी से घटने की बात स्वीकार करते हुये बताया कि बिक्री घटने से ही 214 करोड़ का नुकसान सरकार को झेलना पड़ा है। प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रदेश में शराब की बिक्री 214 करोड़ रुपए घटने से अाबकारी करों में 33 फीसदी से ज्यादा की कमी आ गई है। राज्य सरकार के खजाने को भरने में अहम भूमिका निभाने वाले आबकारी कर में नोटबंदी के बाद गिरावट का दौर जारी है। इसी तरह रजिस्ट्री से होने वाले राजस्व भी बुरी तरह प्रभावित हुआ है । पिछले साल के मुकाबले रजिस्ट्री से होने वाली सरकार की आय भी 16 प्रतिशत कम हुई हैण् तीनों सेक्टरों को मिलाकर सरकार को पिछले साल के मुकाबले 275 करोड़ रुपए का राजस्व कम मिला है । अरुण यादव ने लगाए शिवराज सरकार पर 100 करोड़ खर्च करने का आरोप