नई दिल्ली : सिंधु जल संधि पर विश्वबैंक से दुत्कारे जाने के बाद पाकिस्तान बुरी तरह बौखला गया है. विश्वबैंक ने पाकिस्तान की परियोजनाओं पर भी रोक लगा दी है.अब थक हार कर पाकिस्तान ने एक बार फिर विश्व बैंक से उसके आश्वासनों और वादों को पूरा करने की याद दिलाते हुए पाकिस्तानी वित्तमंत्री इशाक डार ने विश्व बैंक समूह के अध्यक्ष जिम यॉन्ग किम को पत्र लिखा है. उल्लेखनीय है किइस सप्ताह विश्व बैंक ने सिंधु जल समझौते के तहत भारत और पाकिस्तान की तरफ से शुरू की गई अलग-अलग प्रक्रिया पर रोक लगा दी थी.इसका उद्देश्य दोनों देशों के बीच मतभेदों को दूर करने के लिए वैकल्पिक तरीके पर विचार करने को मंजूरी देना था.लेकिन विश्व बैंक की इस कार्रवाई से भारत द्वारा एक तटस्थ विशेषज्ञ नियुक्त करने के लिए दिए गए आवेदन पर कार्रवाई फ़िलहाल रुक गई है.इसी के साथ सिंधु नदी जल प्रणाली के साथ भारत द्वारा बनाए जा रहे दो पनबिजली संयंत्रों से संबंधित मुद्दों के निपटारे के लिए पाकिस्तान ने पंचाट अदालत के अध्यक्ष की नियुक्ति का अनुरोध किया था. यह प्रक्रिया भी रुक गई थी. इस विराम से पाकिस्तान भड़क गया है. पाकिस्तान के विदेश मंत्री डार ने लिखा कि विश्व बैंक द्वारा दिया गया फैसला संधि की शर्तों में पाकिस्तान के लिए तय किए गए अधिकारों का भी उल्लंघन करता है. डॉन अखबार के अनुसार पाकिस्तान ने कहा है कि विश्व बैंक द्वारा इस विवाद में जिस ठहराव का प्रस्ताव दिया गया है, उसके कारण पाकिस्तान किसी अन्य संबंधित मंच पर अपनी शिकायतों और विवाद के निपटारे संबंधी अपील नहीं कर पाएगा. डार ने लिखा है कि सिंधु जल समझौता किसी भी संबंधित पक्ष को अपनी जिम्मेदारियां पूरी करने में विराम लेने का अधिकार नहीं देता है. मुशर्रफ के बोल, देश से बाहर जाने में शरीफ.. विश्व बैंक को भारत पर हैं विश्वास...