हाल ही में बॉलीवुड सिनेमा में 'पीहू' नामक फिल्म रिलीज़ हुई है जिसका इंतज़ार सभी कर रहे थे. फिल्म बहुत ही संवेदन शील नज़र आ रही थी ट्रेलर में लेकिन अब जानते हैं इसका क्या रिव्यु रहा. स्टारकास्ट: मायरा विश्वकर्मा (पीहू) निर्देशक: विनोद कापड़ी निर्माता: रॉनी स्क्रूवाला और सिद्धार्थ रॉय कपूर रेटिंग : 4/5 अवधि : 94 मिनट कहानी 2 साल की बच्ची पीहू की जो परिस्थिति वर्ष पूरे घर में अकेली है और किस तरह पीहू सुबह उठने के बाद पूरा दिन अकेले बिताती है! इस पूरे दिन में पीहू आपको हंसाती है, आपको रुलाती है, आपको डराती है और आपको दहशत में भी डाल देती है। इतना ही नहीं यह छोटी सी बच्ची आपको अपने आपके भीतर झांकने पर मजबूर कर देती है. यह फिल्म 2 साल की बच्ची पीहू (मायरा विश्वकर्मा) की है. घर में पति-पत्नी की हिंसा के बीच यह लड़की ऐसी परिस्थितियों से गुजरती है जो बहुत कुछ सोचने पर मजबूर कर देगी है. फिल्म में पीहू अपने जन्मदिन के अगले दिन सो कर उठती है. वहीं उसकी मां मर चुकी है. 2 साल की पीहू जब सोकर उठती है तो उसको यह नहीं पता है कि उसकी मां मर चुकी है. इस दौरान वह अपनी मां से बातें करती हैं. भूख गलने पर पीहू दूध और खाने के लिए जतन भी करती दिखती है. एक दो साल की बच्ची सी इस तरह की फिल्म करवाना बहुत ही बड़ी बात है. ये मुश्किल काम रहा होगा मगर विनोद कापड़ी का सुलझा हुआ निर्देशन, कसा हुआ स्क्रीनप्ले इसे एक अनोखी फिल्म बना देता है। वहीं निर्देशक विनोद कापड़ी इसके लिए वाकई बधाई के हकदार हैं जिन्होंने दुनिया से अलग जाकर एक अलग ही तरह का सिनेमा गढ़ा है! ये कह सकते हैं आप इस फिल्म को छोड़ तो नहीं सकते यानी देखे बिना नहीं रह पाएंगे. मूवी रिव्यु : 2 साल की 'पीहू' माँ की मौत के बाद घर में फंसी अकेली..