तिरुवनंतपुरम. आज से दक्षिण भारत में ओणम फेस्टिवल की शुरुआत हो रहीं है. खासकर केरल की ही बात की जाए तो ओणम वहां का सबसे पुराना और सबसे बड़ा त्यौहार है. लेकिन इस वर्ष बाढ़ के चलते केरल में ओणम का त्यौहार नहीं मनाया जाएगा. केरल के मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने मंगलवार को ही केरल में ओणम उत्सव को रद्द करने की घोषणा कर दी है. इतना ही नहीं मुख्यमंत्री ने तो राज्य में सांस्कृतिक समारोह आयोजित करने के लिए दी जाने वाली राशि को मुख्यमंत्री आपदा राहत कोष में देने का फैसला लिया है. आपको बता दें ओणम का त्यौहार एक सप्ताह तक चलता है लेकिन इस बार ये त्यौहार 15 अगस्त से शुरू होगा जो कि 27 अगस्त तक चलेगा. ओणम का उत्सव राज्यभर में मनाया जाता है. केरल के अधिकतर स्थानों पर बाढ़ का प्रभाव देखने को मिला. मुख्यमंत्री ने 30 करोड़ रुपये की राशि को मुख्यमंत्री आपदा राहत कोष में देने का फैसला लिया है. उन्होंने कहा कि 'हमारे राज्य में सभी को अब तक की सबसे बड़ी आपदा का सामना करना पड़ रहा है. केरल के कुल 444 गांव बाढ़ से प्रभावित हुए हैं.' मुख्यमंत्री ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया कि 'ओणम के लिए दिए जाने वाली राशि को इस बार राहत के लिए इस्तेमाल किया जाएगा. वो अपने प्रयासों से सभी की पूरी मदद करना चाह रहे हैं.' उन्होंने कहा कि '3 से 15 सितंबर तक एक विशेष अदालत भी स्थापित की जाएगी ताकि जिन भी लोगों ने अपने जरुरी दस्तावेज खो दिए हैं उन्हें मुफ्त प्रतियां दी जा सके.' ख़बरें और भी... केरल: भीषण बाढ़ और तबाही के बीच आया 'ओणम' ओणम त्यौहार से जुडी इन बातों को नहीं जानते होंगे आप दक्षिण भारत की खूबसूरती निहारेगा ओणम का त्यौहार