नरेंद्र दामोदरदास मोदी यानि भारत के यशस्वी प्रधानमंत्री 'नरेंद्र मोदी' का जन्म गुजरात के बड़नगर जिला मेहसाणा में 'दमोदर दास मूलचंद मोदी'/ 'हीराबेन' के घर में 17 सितम्बर 1950 को तीसरी संतान के रूप में हुआ. इस मोदी परिवार की आर्थिक दशा इतनी सुदृढ़ नहीं थी कि परिवार के सारे सदस्य बिना कमाएं सुखमय जीवन व्यतीत कर पाएं. गरीबी की भट्ठी में तपा यह खरा व्यक्तित्व आज अपनी लोकप्रियता, कार्यकुशलता एवं अनुभवों के सहारे देश की कीर्ति पताका को उठाये राष्ट्र की बागडोर थामे निरंतर विकास की सीढ़ी चढ़ते देश को आगे बढाने की पुरजोर कोशिश में जुटे हुआ हैं. पीएम मोदी के जन्मदिन से दो दिन पहले, 15 सितम्बर से शुरू होगा 'स्वच्छता ही सेवा' आंदोलन आइये आपको उनके राजनैतिक जीवन की कुछ रोचक और महत्वपूर्ण बातें बताते हैं.. स्कूल के शुरूआती दिनों में ही एक अकेला छोटा बालक रेलवे स्टेशन पर 1960 की लड़ाई में शामिल सैनिकों की सेवा में चाय बाँट रहा जिसके जज़्बे और जूनून में राष्ट्रप्रेम भली-भांति देखा जा सकता था. कुछ समय बीत जाने के पश्चात इस बालक ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् की सदस्यता ग्रहण कर ली. अपना पूर्णकालिक समय यहाँ देने बाद इन्हे बीजेपी प्रतिनिधि के रूप में चुन लिया गया. अब यहाँ से नरेन्द्र मोदी बड़ी राजनीति में प्रवेश कर चुके थे, इस समय उन्हें साथ मिला शंकरलाल वाघेला का, जिनके साथ मिलाकर नरेंद्र भाई मोदी ने गुजरात बीजेपी का आधार तैयार किया. पाकिस्तान ने भी अपनाई भारत की तरकीब, 4300 करोड़ रुपए बचाए 1990 में बीजेपी को राजनीतिक पार्टी के रूप में पहचान मिलनी शुरू हो गई और 1995 में गुजरात में बीजेपी की सरकार बनी. इस दौरान मोदी को 2 रथ- यात्राओं सोमनाथ से लेकर अयोध्या तक की रथयात्रा और कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक की जिम्मेदारी सौंपी गई और इस यात्रा में अपनी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी निभाई. फिर समय आगे बढ़ा और आपातकाल के दौरान मोदी की राजनीति ने अपना परिचय सब को दे दिया. 1995 में मिली जीत के बाद मोदी को पार्टी का महामंत्री बना दिया गया. एक भी घुसपैठिये को नहीं रहने देंगे: अमित शाह नमो एप के जरिये आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं को पीएम मोदी का गुरु मंत्र नेपाल ने सबसे पुराने दोस्‍त को दिया बड़ा झटका