नई दिल्ली: इकॉनमी में सुस्ती और विपक्ष के हमलों के बीच पीएम नरेंद्र मोदी ने आज शुक्रवार को बताया कि भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने का लक्ष्य कैसे और क्यों रखा गया। इसका श्रेय उन्होंने बीते वर्षों में हो रहे बदलावों और जनता की भागीदारी को दिया। पीएम मोदी ने कहा कि भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की इकॉनमी बनाने का टारगेट यूं ही नहीं रखा गया। उन्होंने कहा कि पिछले 5 साल में देश ने अपने आप को इतना मजबूत किया है कि ऐसे टारगेट रखे भी जा सकते हैं और उन्हें हासिल भी किया जा सकता है। पीएम मोदी ऐसोचैम की सालाना आम सभा को संबोधित कर रहे थे, इस दौरान पीएम ने कहा कि इंसान हो या फिर संस्था, 100 वर्ष का अनुभव काफी बड़ी पूंजी होती है। सभा में पीएम मोदी ने कहा कि, इकॉनमी डिजास्टर की ओर बढ़ रही थी। हमारी सरकार ने न केवल इसे रोका है, बल्कि इसे स्थिर करने का प्रयास भी किया है। हम निर्धारित लक्ष्यों की ओर बढ़ें इसलिए दशकों पुरानी मांगों को पूरा करने पर ध्यान दिया। यही कारण है कि आज 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के लिए मजबूत आधार बना है। पीएम मोदी ने कहा है कि, आमतौर पर सरकार लक्ष्य तय करती है, उसको हासिल करने के लिए रोडमैप बनाती है, सरकारी मशीनरी को काम बांटती है। इस तरीके को मैं गलत नहीं कहता, किन्तु जबतक कि पूरा देश लक्ष्य को पार करने के लिए अपनी-अपनी जिम्मेदारियों में बदलाव नहीं करता है, वह एक सरकारी कार्यक्रम बन जाता है। उन्होंने आगे कहा, 5 ट्रिलियन डॉलर की इकॉनमी का लक्ष्य सामने आते ही मुझे था कि यह यकीन के साथ कहा जाएगा कि भारत यह नहीं कर सकता, किन्तु मुझे खुशी है कि इकॉनमी को गति देने वाले जितने भी समूह हैं, वे इस टारगेट को ध्यान में रखते हुए कोशिश अवश्य करते हैं। यह सरकार का अचीवमेंट नहीं होता है, देशवासियों का अचीवमेंट होता है। पूरे देश में लागू होने जा रहा है NRC, जानिए कैसे साबित कर सकेंगे अपनी नागरिकता एक जनवरी से काम नहीं करेंगे आपके पुराने डेबिट और क्रेडिट कार्ड, RBI करने जा रहा ये काम डीजल के दामों में लगातार दूसरे दिन बढ़ोतरी, पेट्रोल की कीमत में मिली राहत