नई दिल्ली: केंद्र सरकार भारत को रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने के लिए लगातार प्रयासरत है, चीन-पाकिस्तान के बाद अब बांग्लादेश में पनप रही भारत विरोधी भावना को देखते हुए ये आवश्यक भी हो जाता है कि देश युद्ध के लिए सदा तैयार रहे। क्योंकि, तीनों तरफ से दुश्मनों से घिरा होने के कारण भारत पर खतरा हर समय मंडरा ही रहा है। अब इसी क्रम में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) से सुखोई-30 विमानों के लिए 240 AL-31 FP एयरो इंजन की खरीद को लेकर एक कॉन्ट्रैक्ट साइन किया है। ये पूरी डील 26 हजार करोड़ रुपये की है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, रक्षा मंत्रालय और HAL के सीनियर अधिकारियों ने सोमवार को इस अनुबंध पर दस्तखत किए, जहां रक्षा सचिव गिरिधर अरमाने और वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वी आर चौधरी उपस्थित रहे। रिपोर्ट के अनुसार, इन एयरो इंजन का निर्माण HAL के कोरापुट डिवीजन में किया जाएगा। इनसे सुखोई-30 विमानों के बेड़े की संचालन क्षमता को बरक़रार रखने के लिए इंडियन एयरफोर्स की जरूरतें पूरा होने की संभावना जताई जा रही है। अनुबंध के मुताबिक, HAL हर साल 30 एयरो-इंजन की आपूर्ति करेगा। इस तरह सभी 240 इंजनों की सप्लाई अगले 8 वर्षों में पूरी हो जाएगी। इससे देश की रक्षात्मक ताकत को नई धार मिलेगी। रिपोर्ट के अनुसार, इन इंजनों में 54 फीसद से अधिक स्वदेशी सामग्री होगी, जो एयरो-इंजन के कुछ प्रमुख घटकों के स्वदेशीकरण की वजह से बढ़ी है। इनका निर्माण HAL के कोरापुट डिवीजन में किया जाएगा। एसयू-30 मार्क 1 भारतीय वायुसेना के सबसे ताकतवर और रणनीतिक तौर पर महत्वपूर्ण बेड़े में से एक है। HAL की तरफ से इन एयरो-इंजन की आपूर्ति भारतीय वायुसेना के बेड़े की मेंटेनेंस जरूरतों को पूरा करेगी। इससे वे अपने निर्बाध संचालन जारी रख सकें और देश की रक्षा तैयारियों को सशक्त कर सकेंगे। केरल के इस शहर में पानी की भीषण किल्ल्त, बंद करने पड़े स्कूल-कॉलेज 'तो क्या रूस से तेल ना खरीदें..', प्रशांत भूषण को सुप्रीम कोर्ट की तीखी नसीहत जम्मू कश्मीर में कौन है भाजपा की B टीम? जिसपर भड़कीं महबूबा मुफ़्ती