रायपुर : केन्द्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती ने भूजल बोर्ड में काम नहीं होने से नाराजगी जताई है। उन्होंने कहा कि बोर्ड के पास फंड की कमी नहीं है, बावजूद इसके काम नहीं हो रहा है। उमा का कहना है कि ब्यूरोक्रेट्स से काम कराने के लिये 56 इंच का सीना होना जरूरी है। छत्तीसगढ़ दौरे पर आई उमा ने इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कृषि विवि में खाद्य और आजीविका सुरक्षा के लिये जल और भू प्रबंधन पर पहली एशियन काॅन्फ्रेंस के शुभारंभ समारोह में हिस्सा लिया। उन्होंने ब्यूरोके्रट्स को आड़े हाथांे लिया और कहा कि फंड होने के बाद भी यदि काम नहीं होता है तो वे इसे बिल्कुल भी सहन नहीं करेगी। उमा ने भूजल बोर्ड के कामकाज पर नाराजगी व्यक्त की और कहा कि काम नहीं होने के पीछे ब्यूरोक्रेट्स जिम्मेदार है। उमा ने ब्यूरोक्रेट्स को डिब्बे में बंद चिड़िया समान भी करार दिया। उनका कहना था कि यदि अच्छी खेती के लिये जल प्रबंधन को जल आंदोलन बनाया जाये तो लाभ ही होगा। सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को 25 हजार करोड़ पूँजी देगी सरकार म्युचुअल फंड विज्ञापनों में नजर आयेंगे सेलिब्रिटीज