संजय सिंह ने सरेआम फाड़ डाला LG का लीगल नोटिस, कहा- उपराज्यपाल सबसे बड़े 'भ्रष्टाचारी'

नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (AAP) के नेता और राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने आज प्रेस वार्ता में उपराज्यपाल (LG) विनय कुमार सक्सेना की तरफ से भ्रष्टाचार के इल्जाम लगाने के मामले में मिला लीगल नोटिस फाड़ डाला। इस दौरान संजय सिंह ने LG पर संगीन इल्जाम लगाए। AAP सांसद संजय सिंह ने कि दिल्ली के LG एक नंबर के भ्रष्टाचारी हैं। उन्होंने KVIC के चेयरमैन रहते हुए बहुत बड़ा घोटाला किया। इस दौरान संजय सिंह ने पीएम नरेंद्र मोदी पर भी निशाना साधा।

 

उन्होंने कहा कि आज एक बहुत बड़े और गंभीर मामले का खुलासा करने जा रहा हूं। यह मामला दिल्ली के LG विनय सक्सेना के खिलाफ है। उन्होंने KVIC के चेयरमैन रहते हुए बहुत बड़ा घोटाला किया है। खादी उद्योग में लाखों की तादाद में कारीगर काम करते हैं, जिन की संख्या 4 लाख 55 हज़ार है, इसमें काफी बड़ा घोटाला हुआ है। कारीगरों को चेक और बैंक के जरिए पेमेंट नहीं हो रहा है। जबकि पटना उच्च न्यायालय ने कहा कि कारिगरों को कोई भी भुगतान नकद में नहीं किया जाना चाहिए।

संजय सिंह ने आगे कहा कि, 'वर्ष 2017 में KVIC के एक पत्र से स्पष्ट पता चलता है कि भुगतान नकद के माध्यम से होता रहा है। राजेन्द्र प्रताप गुप्ता खादी ग्रामोद्योग के सदस्य ने भी कहा था कि खादी ग्रामोद्योग के नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है। चाय गिरने के चलते चेक खराब हो गया। 23 करोड रुपए से गेस्ट हाउस खरीदने जा रहे थे, राजेन्द्र प्रताप गुप्ता ने इसपर भी आपत्ति जाहिर की थी।'

शराब घोटाला और LG पर भ्रष्टाचार के आरोप :-

बता दें कि, दिल्ली में सबकुछ ठीक था, जब तक नई शराब नीति चल रही थी। लेकिन, जब उपराज्यपाल सक्सेना को केजरीवाल सरकार की नई शराब नीति में कुछ गड़बड़ी दिखी, तो उन्होंने इसकी CBI जांच कराने की सिफारिश कर दी। हालांकि, जांच शुरू होती इससे पहले ही, केजरीवाल सरकार ने फ़ौरन यू टर्न मारा और नई शराब नीति वापस लेते हुए फिर से पुरानी नीति लागू करने का ऐलान कर दिया। लेकिन LG के आदेश के बाद डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया के घर पर CBI की रेड पड़ी और जांच एजेंसी की FIR में सिसोदिया का नाम मुख्य आरोपी के रूप में सामने आया। जिससे AAP बौखला गई, इसके बाद शुरू हुआ शराब घोटाले की जाँच का आदेश देने वाले LG विनय कुमार सक्सेना को घेरने का खेल। जो AAP नेता अब तक शराब घोटाले पर चुप थे, वे एक के बाद एक उपराज्यपाल पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाने लगे। इसके बाद ही LG विनय सक्सेना ने AAP नेताओं को बेबुनियाद आरोप लगाने के लिए लीगल नोटिस भेजा था, जो संजय सिंह ने फाड़ दिया।

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