शंकराचार्य : नदियों को स्वच्छ बनाना जरूरी

शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती भोपाल आये हुए हैं. शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती गोवर्धनपुरी पीठाधीश्वर है. भोपाल में स्वामी जी ने मीडिया से भी बात-चीत की और अपनी बात भी सामने रखी. इस दौरान स्वामी जी नेताओं से नाराज भी नजर आए. यही नहीं उन्होने नदियों की साफ सफाई को लेकर भी बात की है. नदियों को लेकर उनका कहना है कि नर्मदा नदी के घाट साफ करने से कुछ नहीं होने वाला है. नदियों में शहरों का गंदा पानी मिलने से भी रोकना होगा. 

शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती ने राम मंदिर पर भी अपनी बात कही है. उन्होंने कहा हैं कि अटलजी की सरकार के समय पुरातत्व विभाग ने अयोध्या में खुदाई कराई थी. जिन लोगों को बाबर से प्रेम है तो वहां मस्जिद बनाएं, जहां उसे दफनाया गया. संभवत: सितंबर तक फैसला आ जाएगा. उसे यहां मंदिर के ही प्रमाण मिले. राजनेताओं के हथकंडों से ही मंदिर नहीं बन पाया. सरदार वल्लभ भाई पटेल होते तो राम मंदिर कब का बन चुका होता. 

प्रदेश में संतों को मंत्री दर्जा देने पर शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती बोले राजनीतिक दल कब राम भक्त बन जाए, कब गोभक्त और कब संतों को पिटवा दें, कब राजगद्दी दे दें, कहना कठिन है. चुनाव तब नजदीक आता है और सबको दिन में तारे दिखाई पड़ने लगते हैं. राजनेताओं के सलाहकार वोट बैंक टटोलते हैं. कोई भी दल सत्तालोलुपता और अवसरवादिता से बचा हुआ नहीं है. 

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