मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव की मतगणना से पहले शिवराज सरकार द्वारा कैबिनेट बैठक बुलाए जाने को लेकर अब प्रदेश की सियासत में घमासान मच गया है. कांग्रेस ने बैठक पर आपत्ति जताते हुए इसे नियमों के खिलाफ बताया है वही चुनाव आयोग से बैठक पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाने की मांग भी की है गौरतलब है चुनाव परिणाम के पांच दिन पहले मुख्यमंत्री शिवराज द्वारा कैबिनेट की बैठक बुलाई गई थी. इसके बाद आरोप प्रत्यारोप का दौर भी शुरू हो गया है. कांग्रेस ने जहां इसे नियमों के खिलाफ बताया और चुनाव आयोग से बैठक पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाने की मांग की है. तो वहीं बीजेपी ने कहा कि कांग्रेस को नियमों की जानकारी नहीं है. वही सरकार की तरफ से मंत्री विश्वास सारंग ने बयान दिया है कि केबिनेट की बैठक को लेकर जो भी प्रक्रिया हो रही है संवैधानिक रूप से सही है. कांग्रेस को इतने साल सत्ता में रहने के बाद भी नियम कानून का ज्ञान नही है. वहीं कांग्रेस द्वारा ईवीएम पर उठाए जा रहे सवाल को लेकर सारंग ने कहा, 'हार का डर होता है तो ऐसे इल्जाम लगाते हैं, जीतते हैं तो कहते हैं कि हमारी खूबी, हारते हैं तो EVM पर आरोप लगाते हैं. कांग्रेस सुप्रीम कोर्ट को भी कठघरे में खड़ा करती है. ईवीएम को दोषी ठहराने के मामले में कांग्रेस पर बरसे म.प्र भाजपा अध्यक्ष राकेश सिंह मध्यप्रदेश चुनाव: ईवीएम में गड़बड़ी पर चुनाव आयोग ने तोड़ी चुप्पी, 85 ट्वीट्स के दिए जवाब मध्यप्रदेश चुनाव: ईवीएम से छेड़छाड़ को लेकर स्टॉन्ग रूम के बाहर डेरा डालकर बैठे कांग्रेस प्रत्याशी