अज़ान-नमाज़ के दौरान बंद करें दुर्गा पूजा...! हिन्दुओं को बांग्लादेशी सरकार का तुगलकी फरमान

ढाका: बांग्लादेश में शेख हसीना सरकार के तख्तापलट के बाद से हिंदुओं की स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है। नए सत्तारूढ़ मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली सरकार के तहत हिंदू समुदाय को धार्मिक स्तर पर निशाना बनाया जा रहा है। ताजा फरमान में, बांग्लादेश के गृह मामलों के सलाहकार लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) एमडी जहांगीर आलम चौधरी ने हिंदू समुदाय को आदेश दिया है कि वे नमाज और अजान के दौरान दुर्गा पूजा के कार्यक्रमों में लाउडस्पीकर ना बजाएं, वरना कड़ी कार्रवाई की जाएगी, जेल भी हो सकती है। इस निर्देश के अनुसार, पूजा समितियों को लाउडस्पीकर और संगीत वाद्ययंत्रों का उपयोग रोकने के लिए कहा गया है, जिसे समितियों ने मान लिया है।

 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस साल बांग्लादेश में कुल 32,666 पूजा पंडाल स्थापित किए जाएंगे, जो पिछले साल से कम हैं। यह निर्देश शेख हसीना के सत्ता से हटने और स्वतंत्रता सेनानियों के वंशजों के लिए कोटा हटाने के खिलाफ हुए विरोध प्रदर्शन के बाद आया है। इस दौरान, अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय पर लगातार हमले हो रहे हैं, जिससे उनकी सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल उठे हैं। हाल ही में शाह पोरान दरगाह पर हुए हमले के बारे में पूछे जाने पर लेफ्टिनेंट जनरल चौधरी ने कहा कि उन्हें इस हमले की जानकारी नहीं है, लेकिन कानून लागू करने वाले अधिकारियों को सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने यह भी आश्वासन दिया कि पूजा आयोजकों को सुरक्षा प्रदान की जाएगी, खासकर मूर्तियों के निर्माण और पूजा मंडपों की सुरक्षा के लिए।

 

इसके अलावा, यूनुस की अंतरिम सरकार ने भारत को हिल्सा मछली के निर्यात पर प्रतिबंध भी लगा दिया है, जिससे दुर्गा पूजा से पहले भारत, विशेष रूप से पश्चिम बंगाल में, मछली की भारी कमी हो गई है। यह प्रतिबंध पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की सद्भावना प्रथा के विपरीत है, जो त्योहारी सीजन में भारत को पद्मा इलिश मछली निर्यात करती थीं। यह स्थिति भारत में भी सवाल खड़े कर रही है कि क्या यह इस्लामी कट्टरपंथ का परिणाम है? जहाँ मुस्लिम आबादी अधिक होती है, वहां अन्य समुदायों के साथ यही सलूक होता है ? क्योंकि भारत में भी मुस्लिम बहुल इलाकों में अक्सर हिंदू जुलूसों पर हमले होते हैं। भारत में किसी मस्जिद को यह नहीं कहा जाता कि वो मंदिरों में आरती के दौरान अजान बंद करे, जबकि दिन में पाँच बार अजान होती है और दुर्गा पूजा केवल साल में एक बार।

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