स्विट्जरलैंड में दवाओं के इस्तेमाल से पहले जानवरों पर होने वाले परीक्षण (Animal Testing) को प्रतिबंधित करने की मांग उठ रही है। जी दरअसल स्विट्जरलैंड में जनमत संग्रह (Referendum) के जरिए वोटर्स इस बात का फैसला करने वाले हैं कि यहां जानवरों पर होने वाला परीक्षण पर बैन लगाया जाए या नहीं। आप सभी को बता दें कि प्रतिबंध के पक्ष में ज्यादा वोटिंग होने पर स्विट्जरलैंड दुनिया में पहला देश होगा जहां जानवरों पर होने वाले परीक्षण पर प्रतिबंध लगा दिया जाएगा। इसी के साथ ही तंबाकू या सिगरेट के विज्ञापन पर कड़े नियंत्रण (Controls on Cigarette Advertising) पर भी विचार किया जाएगा। आप सभी को हम यह भी बता दें कि एनिमल टेस्टिंग को प्रतिबंधित (Animal Testing Ban) करने के लिए अभियान चलाने वाले लोग चूहों (Experiments on Rats) समेत दूसरे जानवरों पर सभी तरह के प्रयोगों को समाप्त करना चाहते हैं। जी दरअसल प्रत्यक्ष लोकतंत्र की स्विस प्रणाली के तहत वोट देने के लिए पर्याप्त हस्ताक्षर एकत्र हुए और प्रतिबंध लगाने के समर्थकों को देश के बड़े फार्मास्युटिकल क्षेत्र के कड़े विरोध का सामना भी करना प़ड़ रहा है। वहीं दूसरी तरफ दवा कंपनियों का यह कहना है कि नई दवाओं को विकसीत करने के लिए इस तरह के शोध की जरुरत पड़ती है। जानवारों पर परीक्षण को लेकर प्रतिबंध लगाने के समर्थकों का आरोप है कि एनिमल टेस्टिग की प्रथा नैतिक रूप से गलत और गैरजरूरी है। इसी के साथ सामने आने वाले सरकारी आंकड़ों से पता चलता है कि 2020 में स्विस प्रयोगशालाओं में 500,000 से अधिक जानवरों की जान ली गई। IPL Auction में प्रीति जिंटा ने की मुंबई इंडियंस की तारीफ, जानिए क्या है वजह? गन्ने से भरे ट्रेलर से टकराई केंद्रीय मंत्री के बेटे की गाड़ी, उड़े कार के परखच्चे जानिए पिता बनने के बाद कैसी होती है निक की सुबह