आमतौर पर ऐसा कहा जाता है कि दुनिया में इंसान कभी भी किसी इलाके में अकेला नहीं रह सकता है, क्योंकि यह उसकी प्रवृति नहीं होती. लेकिन आपको जानकर यह हैरानी होगी कि दुनिया में ऐसे भी कई लोग हैं जो एक पूरे के पूरे शहर में अकेले रहते हैं. आज हम आपको ऐसे ही एक शख्स के बारे में बताने वाले है, जो दुनिया की सबसे खतरनाक जगह पर अकेला रहता है. वह इलाका पिछले नौ साल से वीरान पड़ा हुआ है. फिर भी यह शख्स बिना किसी डर-भय के वहां आराम से अपनी जिंदगी गुजार रहा है। इस शख्स का नाम है नाओतो मात्सुमुरा और ये रहते हैं जापान के एक छोटे से शहर तोमियोको में. दरअसल, 11 मार्च 2011 को जापान के फुकुशिमा में एक भयानक परमाणु दुर्घटना हुई थी, जिसके बाद तोमियोको सहित आसपास के इलाकों में रहने वाले लोग अपना घर-बाड़ छोड़कर दूसरे इलाकों में चले गए. नाओतो मात्सुमुरा भी तोमियोको से चले गए थे, लेकिन उन्हें रहने की कोई जगह नहीं मिली तो वो फिर वापस तोमियोको आ गए और यहाँ रहने लगे. इसके अलावा एक और वजह है जो उन्हें यहां फिर से वापस लेकर आ गई. दरअसल, मात्सुमुरा को जानवरों से बहुत लगाव है. परमाणु दुर्घटना के बाद वो तोमियोको से चले तो गए थे, लेकिन यहां के जानवर उस इलाके को छोड़कर कहीं नहीं जा रहे थे, इसलिए मजबूरन उन्हें भी तोमियोको आना पड़ा. अब चूंकि उस इलाके में रेडिएशन का भयंकर खतरा था, क्योंकि वहां की मिट्टी और पानी में रेडिएशन मिला हुआ था. इसलिए उन्होंने यहां रहने से पहले जानकारी इकट्ठा की. जापान की एयरोस्पेस एक्सप्लोरेशन एजेंसी की ओर से उन्हें बताया गया कि वह कम से कम 30-40 साल तक बीमार नहीं पड़ेंगे. इसके बाद से वो यहां मजे से रहने लगे. मात्सुमुरा जिस इलाके में रहते हैं, वहां न तो बिजली है और न ही पानी है. हालांकि उनके पास एक सोलर पैनल है, जिसकी मदद से वो अपना मोबाइल चार्ज कर लेते हैं. साथ ही साथ उससे कंप्यूटर भी चला लेते हैं. उन्हें सिगरेट पीने की एक बुरी लत है. अब चूंकि उनके इलाके में तो कोई रहता नहीं, इसलिए वो कहीं दूर जाते हैं और सिगरेट खरीद कर लाते हैं. उनका कहना है कि अगर वो सिगरेट नहीं पीएंगे तो बीमार ही पड़ जाएंगे. रिसर्च सहायक और लैब तकनीशियन के पदों पर जॉब ओपनिंग, ये है चयन प्रक्रिया इस देश के डॉक्टर्स का ख्याल रख रहा है डॉगी दुनिया का वो गांव, जहां रहती है सिर्फ एक महिला