भारत दौरे पर आ रहे UAE के क्राउन प्रिंस, पीएम मोदी से करेंगे मुलाकात

नई दिल्ली: अबू धाबी के क्राउन प्रिंस खालिद बिन मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान, जो संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के संभावित अगले नेता हैं, अगले महीने भारत का दौरा करने वाले हैं। उनकी यात्रा का मुख्य उद्देश्य भारत और UAE के बीच व्यापार और रणनीतिक संबंधों को और मजबूत करना है। शेख खालिद के 8 सितंबर को भारत पहुंचने की उम्मीद है, और इस दौरान वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत देश के प्रमुख नेताओं से मुलाकात करेंगे। यह यात्रा दोनों देशों के भविष्य के संबंधों को और प्रगाढ़ बनाने पर केंद्रित होगी।

हालांकि, यात्रा के दौरान किसी भी औपचारिक समझौते पर हस्ताक्षर की संभावना नहीं है, लेकिन दोनों देशों के बीच व्यापार और सुरक्षा समेत विभिन्न क्षेत्रों में संबंधों को और गहरा करने की प्रतिबद्धता की पुष्टि की जाएगी। यह यात्रा पिछले कुछ वर्षों में हुई उच्च-स्तरीय यात्राओं की श्रृंखला में एक और महत्वपूर्ण कदम होगी। प्रधानमंत्री मोदी ने 2015 से अब तक सात बार यूएई का दौरा किया है, जबकि यूएई के राष्ट्रपति मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान (एमबीजेड) ने आखिरी बार सितंबर 2023 में भारत का दौरा किया था। एमबीजेड ने मार्च 2023 में अपने बेटे शेख खालिद को अबू धाबी का क्राउन प्रिंस नियुक्त किया था, जिसके बाद से शेख खालिद ने शायद ही कोई विदेश यात्रा की है।

गौरतलब है कि 2022 में भारत-यूएई व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौते (सीईपीए) के लागू होने के बाद से वित्तीय वर्ष 2023 में दोनों देशों के बीच व्यापार लगभग 85 बिलियन डॉलर तक बढ़ गया है। यूएई, अमेरिका और चीन के बाद भारत का तीसरा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है, और यह भारत का दूसरा सबसे बड़ा निर्यात गंतव्य भी है। यूएई के साथ भारत का गैर-तेल व्यापार अगले पांच वर्षों में 100 बिलियन डॉलर से अधिक होने की उम्मीद है, और यूएई भारत में सातवां सबसे बड़ा निवेशक भी है। यूएई में 3.5 मिलियन भारतीय नागरिकों की मौजूदगी, जो वहां की कुल आबादी का 30% है, भी द्विपक्षीय संबंधों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। यह भारतीय समुदाय यूएई में सबसे बड़ा प्रवासी समूह है और उनके द्वारा भारत भेजी गई धनराशि देश की विदेशी आय का एक महत्वपूर्ण स्रोत है। इस समय यूएई और सऊदी अरब के शीर्ष नेतृत्व के बीच कुछ तनाव के बीच यह यात्रा हो रही है, जो इसे और भी महत्वपूर्ण बनाती है।

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