दिल्ली पुलिस ने एक ऐसे हैकर को हिरासत में लिया है, जिसने चार साइबर अटैक कर 18 हजार रोगियों का डेटा डिलीट कर दिया है. इसके अलावा इस हैकर ने तीन लाख रोगियों की बिलिंग से जुड़ी सूचना हासिल की है. हैकर ने 22000 मरीजों की फर्जी एंट्री कर दी. इस व्यक्ति की पहचान विकेश शर्मा के रूप में हुई है. 'बीमारी के ‘बादल’ छाए हैं, बेनिफ़िट ले सकते हैं'... राहुल का पीएम पर हमला बता दे कि नॉर्थ वेस्ट शहर की डीसीपी विजयंता आर्या के अनुसार इजी सॉल्यूशन प्राइवेट लिमिटेड के सीईओ कुणाल अग्रवाल ने शिकायत दर्ज करवाई है. किसी अज्ञात व्यक्ति ने महामारी के कुछ चिकित्सालय और दूसरे चिकित्सालय का डेटा हैक कर लिया है. इस शिकायत के बाद साइबर सेल ने केस दर्ज कर केस की जांच प्रारंभ की. जांच में हैकर का आईपी एड्रेस शाहदरा का मिला, जो विकेश शर्मा के नाम से था. दिल्ली पुलिस ने शाहदरा में छापेमारी कर आरोपी विकेश शर्मा को हिरासत में ले लिया है. आरोपी ने अपनी गलती कबूल कर ली है. आदिवासियों को भड़काने का आरोप, गुजरात ATS ने तीन नक्सलियों को किया गिरफ्तार आरोपी विकेश शर्मा ने कहा कि उसने IT से MSC किया है, और उसने बताया कि वह कंपनी में सीनियर सॉफ्टवेयर इंजीनियर के पद कार्यरत था. लॉकडाउन में कंपनी ने वेतन घटाकर उसे नौकरी से निष्कासित कर दिया. तब उसके मन में बदला लेने का विचार आया. उसके पास कंपनी की वेबसाइट की पूरी सूचना थी, इसलिए उसने जॉब जाने के बाद निर्णय किया कि कंपनी को ऐसा नुकसान किया जाए, कि वह घुटने टेक दे, और फिर सहायता के लिए मालिक उससे मिले. इसी उद्देश से उसने चार साइबर हमले कर 18000 मरीजों डेटा मिटा दिया. चीन से तनाव के बीच भारतीय वायुसेना की अहम बैठक, लिया ये बड़ा फैसला नागपंचमी : दुनिया में साँपों की 3 हजार प्रजातियां, उड़ते भी हैं नाग रेलवे ने श्रमिक ट्रेनों से कमाए 430 करोड़ रुपए, कांग्रेस बोली- मजदूरों से वसूले या राज्यों से ?