जयपुर: राजस्थान के सिरोही जिले में धर्म परिवर्तन से इनकार करने पर एक महिला के साथ अमानवीय अत्याचार का मामला सामने आया है। आरोप है कि महिला पर उसके ससुराल वालों ने ईसाई बनने का दबाव डाला, और जब उसने इनकार किया तो उसे जंजीरों में बाँधकर रखा गया। महिला के साथ मारपीट की गई और उसे उसके नवजात बेटे से भी अलग कर दिया गया। अत्याचार के कारण महिला की मानसिक और शारीरिक स्थिति इतनी बिगड़ गई कि वह ठीक से चल-फिर भी नहीं पा रही है। यह घटना सिरोही जिले के अनादरा थाना क्षेत्र के धानेरा गाँव की है। पीड़िता के पिता जगसी राम ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने बताया कि करीब एक साल पहले उनकी बेटी की शादी दीपाराम नाम के युवक से हुई थी। शुरू में सब कुछ ठीक था, लेकिन कुछ समय बाद ससुराल वालों का व्यवहार बदल गया। शादी के बाद दीपाराम की सच्चाई सामने आई कि वह सोशल मीडिया पर ईसाई धर्म का प्रचार करता है और अन्य लोगों को भी धर्म बदलने के लिए उकसाता है। दीपाराम ने अपनी पत्नी पर भी ईसाई बनने का दबाव डालना शुरू कर दिया और उसे धार्मिक आयोजनों में शामिल होने के लिए मजबूर करने लगा। जब महिला ने खुद को हिंदू बताते हुए इस मांग को ठुकरा दिया, तो उसके साथ दुर्व्यवहार किया गया। महिला पर अत्याचार में सिर्फ उसका पति ही नहीं, बल्कि उसके जेठ शंकर, उमाराम, जेठानी फूली देवी, मंजू और परिवार के अन्य सदस्य भी शामिल थे। ये सभी पहले ही ईसाई धर्म अपना चुके थे। उन्होंने महिला को जंजीरों से बाँधकर रखा और उसके नवजात बेटे से अलग कर दिया। पीड़िता के परिवार को जब इस मामले की जानकारी मिली, तो वे उसके ससुराल पहुँचे और उसे छुड़ाकर मायके ले आए। महिला की गंभीर हालत देखकर उन्होंने पुलिस में शिकायत की। पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और इसकी जाँच शुरू कर दी है। सिरोही पुलिस अधीक्षक अनिल कुमार बेनीवाल ने कहा है कि घटना की हर पहलू से जाँच की जा रही है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। यह मामला धार्मिक स्वतंत्रता और मानवाधिकारों से जुड़ा हुआ है, इसलिए इस पर समाज और प्रशासन की कड़ी नजर बनी हुई है। हिन्दू-जैन मंदिरों से चुराते थे कीमती सामान, चोर अमीन और यासीन शेख गिरफ्तार दिल्ली में युवक की गोली मारकर हत्या, पड़ोसी ने ही ले ली जान महिला सिपाही अमरीन को बीच सड़क पर लातें मारी, गंदी नियत से छुआ, FIR दर्ज