कोरोना महामारी के बढ़ते खतरे के बीच दो स्वास्थ्य विशेषज्ञों का दावा है कि सितंबर के मध्य तक देश से महामारी का कहर कम हो जाएगा. स्वास्थ्य मंत्रालय के विशेषज्ञों ने एक गणितीय मॉडल के आधार पर यह निष्कर्ष निकाला है. विश्लेषण में बताया गया है कि जब ठीक हो चुके और जान गंवाने वाले मरीजों की कुल संख्या सक्रिय मरीजों की संख्या के बराबर पहुंच जाएगी, वह इसका चरम होगा. इसके बाद इसमें गिरावट का दौर शुरू हो जाएगा. ऐसा होने में अभी तीन महीने से ज्यादा समय लगेगा. रेल मंत्री पियूष गोयल की माँ का दुखद निधन, बेटे ने लिखा भावुक पोस्ट आपकी जानकारी के लिए बता दे कि विज्ञान पत्रिका एपिडेमियोलॉजी इंटरनेशनल में प्रकाशित इस विश्लेषण को स्वास्थ्य मंत्रालय के अधीन स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय में डिप्टी डायरेक्टर जनरल (पब्लिक हेल्थ) डॉ. अनिल कुमार और डिप्टी असिस्टेंट डायरेक्टर (कुष्ठ रोग) रूपाली रॉय ने अंजाम दिया है. दोनों विशेषज्ञों ने बीमारी का अनुमान लगाने के लिए बैले गणितीय मॉडल का इस्तेमाल किया. वही, किसी भी संक्रामक बीमारी के मामले में इस मॉडल के आधार पर निष्कर्ष निकाला जा सकता है. इस मॉडल में कुल संक्रमितों एवं ठीक हो चुके सभी मरीजों के आधार पर निष्कर्ष निकाला जाता है. यह मॉडल इस आधार पर काम करता है कि जब तक कोई व्यक्ति संक्रमित है, तब तक वह नए लोगों को संक्रमित कर सकता है. ऐसे में एक बार जब ठीक हो चुके और जान गंवा चुके लोगों की संख्या कुल संक्रमितों की संख्या के बराबर हो जाएगी, तब संक्रमण फैलने का क्रम खत्म हो जाएगा. भारत में अभी ठीक हो चुके और जान गंवा चुके लोगों की संख्या कुल संक्रमितों के लगभग आधे के बराबर है. सैन्य कमांडरों की बैठक में बोला भारत- अप्रैल वाली पोजीशन पर वापस जाए चीन इसके अलावा विश्लेषण में कहा गया है कि भारत में महामारी की वास्तविक शुरुआत दो मार्च को हुई और तब से रोज नए मामले बढ़ रहे हैं. इस मॉडल के आधार पर बताया गया है कि सितंबर मध्य तक ठीक हो चुके व जान गंवा चुके लोगों की संख्या कुल संक्रमितों की संख्या के बराबर हो जाएगी. यही वह बिंदु होगा, जब महामारी खत्म हो जाएगी. विशेषज्ञों का कहना है कि संक्रमण के प्रसार में आबादी और वातावरण की भूमिका अहम है. सरकार को इन्हें ध्यान में रखते हुए फैसले लेने होंगे. कोरोना संक्रमण में छठे स्थान पर पहुंचा भारत, एक सप्ताह का भी नहीं लगा समय PFI सदस्य मुफ़्ती शहजाद अरेस्ट, CAA विरोधी हिंसा में थी तलाश निसर्ग की तबाही पर बोले फडणवीस, कहा- किसानों को मिले नुकासन का 75 फीसद मुआवज़ा