कोलकाता: हाल ही में पश्चिम बंगाल में संपन्न हुए निकाय चुनाव में, भारतीय जनता पार्टी ने पार्टी के प्रदर्शन को लेकर एक समीक्षा बैठक का आयोजन किया था. समीक्षा बैठक में राज्य अध्यक्ष सुकांत मजूमदार, दिलीप घोष, लॉकेट चटर्जी, अमित मालवीय, दिनेश त्रिवेदी सहित सभी मुख्य नेता शामिल हुए. किन्तु TMC छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में सम्मिलित हुए सुवेंदु अधिकारी एवं केंद्रीय मंत्री शांतनु ठाकुर बैठक में उपस्थित नहीं थे. वही निकाय चुनावों में भारतीय जनता पार्टी के वोट शेयर में आई कमी को लेकर, इस मीटिंग में वार्ता की जानी थी. 2021 के विधानसभा चुनावों में 77 सीटों की जीत के पश्चात, नगर निकाय चुनावों में भारतीय जनता पार्टी के वोट शेयर में भारी गिरावट देखी गई है. प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने कहा कि TMC एवं वाम दलों के बीच छिपे हुए गठबंधन के कारण भारतीय जनता पार्टी के वोट शेयर में कमी आई. सुकांता मजूमदार ने इस छिपे हुए गठबंधन को 'फिश फ्राई' कहा. उन्होंने कहा, 'जब TMC धांधली करती है, तो वे TMC को 8 वोट और CPM को 2 वोट देती है. इसे फिश फ्राई जॉट बोला जाता है. वे मूल विपक्ष को समाप्त करने के लिए जानबूझकर ऐसा कर रहे हैं.' सूत्रों के अनुसार, पार्टी ने कहा था कि संगठन को जमीनी स्तर पर मजबूत करना है. 2023 में होने वाले पंचायत चुनावों से पहले, भारतीय जनता पार्टी का लक्ष्य अपने कैडरों को बढ़ावा देना एवं पूरे प्रदेश में अपने मंडलों को मजबूत करना है. हालांकि, एक सवाल जिस पर हर ओर बातचीत थी, वह ये कि विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी मीटिंग में उपस्थित क्यों नहीं थे. इसपर सुकांत मजूमदार ने कहा था कि सुवेंदु अधिकारी ने हमें सूचित किया था कि वह किसी व्यक्तिगत काम के कारण बैठक में सम्मिलित नहीं हो पाएंगे. उन्होंने एक दिन पहले ही इसकी खबर दी थी. भाजपा MLA पर शुक्ला परिवार ने लगाया बड़ा आरोप, जानिए पूरा मामला दिल्ली नगर निगम चुनाव की तैयारी में जुटी कांग्रेस, राहुल गांधी ने बैठक कर बनाया ये प्लान 'महाराष्ट्र की तर्ज पर गोवा में भी हो रही फोन टैपिंग': संजय राउत