क्या सदन में गलतबयानी को लेकर राहुल गांधी पर होगी कार्रवाई ? बांसुरी स्वराज ने लोकसभा स्पीकर को दिया नोटिस

नई दिल्ली: भाजपा सांसद और दिवंगत केंद्रीय मंत्री सुषमा स्वराज की पुत्री बांसुरी स्वराज ने आज मंगलवार (2 जुलाई) को लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी द्वारा सदन में दिए गए 1 जुलाई के भाषण के खिलाफ नोटिस पेश किया। उन्होंने स्पीकर ओम बिरला से आवश्यक कार्रवाई करने का आग्रह किया और कहा कि राहुल गांधी के बयान तथ्यात्मक रूप से गलत और भ्रामक प्रकृति के थे।

स्वराज ने कांग्रेस नेता पर "जानबूझकर" उनकी पार्टी को बदनाम करने और उसके खिलाफ नफरत फैलाने का प्रयास करने का आरोप लगाया। उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष को भेजे नोटिस में कहा कि, लोकसभा में विपक्ष के नेता द्वारा दिए गए उपर्युक्त बयान तथ्यात्मक रूप से गलत और भ्रामक प्रकृति के हैं, इसलिए नियम 115 के तहत उचित कार्यवाही शुरू की जानी चाहिए। इसलिए मैं आपसे प्रार्थना करती हूं कि आप राहुल गांधी द्वारा जानबूझकर की गई गलतियों का संज्ञान लें और आवश्यक कार्रवाई करें। 

इससे पहले राहुल गांधी ने अपने भाषण का कुछ हिस्सा हटाने के संबंध में लोकसभा स्पीकर को पत्र लिखा था। कांग्रेस सांसद ने कहा कि हटाए गए हिस्से नियम 380 के दायरे में नहीं आते हैं और उस हिस्से को वापस रिकॉर्ड पर लिया जाए। जवाबी कार्रवाई में बांसुरी स्वराज ने अपने नोटिस में बताया कि विपक्ष के नेता जैसे जिम्मेदार पद पर होने के बावजूद राहुल गांधी ने अग्निवीर योजना के बारे में "जानबूझकर" तथ्यात्मक रूप से गलत बयान दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि किसानों और न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर उनकी टिप्पणियाँ "गलत", "झूठी" और "बिना किसी आधार के" थीं।

इससे पहले राहुल ने अपने पत्र में कहा कि, मैं यह देखकर स्तब्ध हूं कि किस तरह मेरे भाषण के एक बड़े हिस्से को कार्यवाही से निकाल दिया गया। बता दें कि राहुल गांधी की टिप्पणी पर सत्ता पक्ष की ओर से भारी विरोध हुआ था और प्रधानमंत्री ने भी दुर्लभ हस्तक्षेप करते हुए कांग्रेस नेता पर पूरे हिंदू समुदाय को हिंसक कहने के लिए निशाना साधा था।

क्या था अग्निवीर पर राहुल गांधी का दावा :-

वही, भाजपा नेता अमित मालवीय ने भी अपने ट्विटर हैंडल पर एक न्यूज़ चैनल का वीडियो शेयर किया है। जिसमे शहीद अग्निवीर के परिजन खुद कह रहे हैं कि, उन्हें सरकार की तरफ से एक करोड़ दस लाख रूपए मुआवज़े के रूप में मिले हैं। जबकि, राहुल गांधी ने विपक्ष के नेता के जिम्मेदार पद पर होते हुए सदन में ये झूठा दावा किया था कि, अग्निवीरों को शहीद होने पर कुछ नहीं दिया जाता। बता दें कि अग्निवीर योजना को बदनाम शुरु से ही किया जा रहा है। प्रतिबंधित आतंकी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ़ इंडिया (PFI) भी अग्निवीर योजना को RSS की योजना बता चुका है, वहीं राहुल गांधी भी लोकसभा में यही बात बोल चुके हैं कि अग्निवीर RSS की योजना है। अब इन दोनों में क्या संबंध है, ये जांच का विषय है। 

 

हालाँकि, अब भी सदन में इस योजना पर झूठ फैलाया जा रहा है, जबकि युवा वर्ग बढ़-चढ़कर इसमें इससे ले रहा है। बता दें कि इस योजना के तहत सेना में शामिल अग्निवीर यदि बलिदान होते हैं, तो उन्हें अंतिम विदाई दी जाती है। अग्निवीर की सेवा शर्तों के अनुसार, युद्ध में वीरगति को प्राप्त होने पर परिवार वालों को इंश्योरेंस (नॉन कॉन्ट्रिब्यूटरी) के 48 लाख रुपए, अग्निवीर द्वारा जमा सेवा निधि (30 पर्सेंट) और इतना ही पैसा सरकार द्वारा दिया जाता है। वहीं एक्स ग्रेशिया के तौर पर 44 लाख रुपए, शेष बचे कार्यकाल का वेतन (चार साल कुल कार्यकाल) दिया जाता है। साथ ही आर्म्ड फोर्सेस बैटल कैजुअल्टी फंड से 8 लाख रुपए और AWWA की तरफ से तत्काल सहायता के रूप में 30 हजार रुपए दिए जाते हैं। बता दें कि यही सेवाएँ हर सामान्य सैनिक के लिए होती हैं। ये तथ्य साफ़ बताते हैं कि, राहुल गांधी ने नेता प्रतिपक्ष के जिम्मेदार पद पर रहते हुए सदन में गलत दावा किया है और भ्रम फैलाने की कोशिश की है।

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