दुनियाभर में 180 से अधिक देश कोरोना वायरस की चपेट में आ चुके है. वही, विश्व में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्‍या 103,141 हो गई है जबकि 1,700,760 से ज्‍यादा मामले दर्ज किए गए हैं. हालांकि विश्‍व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन का कहना है कि असल आंकड़ा काफी अलग हो सकता है क्‍योंकि अधिकांश देश केवल गंभीर मामलों की ही जांच करा रहे हैं. वहीं अमेरिका में हालात और बिगड़ते जा रहे हैं और एक ही दिन में 2108 मौतें हुई हैं. इसके साथ ही अमेरिका में संक्रमित मरीजों की संख्‍या 18,777 तक पहुंच गई है. महामारी पर नियंत्रण पा चुके चीन की मुश्किलें फ‍िर बढ़ती नजर आ रही हैं. चीन में संक्रमण के 46 नए मामले सामने आए हैं. स्‍पेन में रोज होने वाली मौतों में कमी आई है वहां बीते 24 घंटे में 510 लोगों की मौत हो गई है. महिला अंडर-17 विश्वकप को लेकर पटेल की फीफा से बातचीत जारी आपकी जानकारी के लिए बता दे कि चीन में कोरोना संक्रमण के 46 नए मामलों में से चार घरेलू संक्रमण के हैं. एक दिन पहले संक्रमण की संख्या 42 थी. कोरोना वायरस के 34 ऐसे मामलों का भी पता चला है, जिनमें संक्रमण के कोई लक्षण दिखाई नहीं दे रहे हैं. चीन में इस वैश्विक महामारी से तीन और लोगों की मौत हो जाने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 3,339 हो गई है. चीन में शुक्रवार तक विदेशों से आए संक्रमित लोगों की संख्या 1,183 दर्ज थी. इनमें से 449 लोगों को उपचार के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई और 734 लोगों का उपचार किया जा रहा है इनमें से 37 की हालत गंभीर है. इसके साथ ही चीन में संक्रमित लोगों की कुल संख्या शुक्रवार को 81,953 पर जा पहुंची है जिनमें 1,089 मरीजों का उपचार जारी है. तानाशाही पर उतर आया चीन, कोरोना के बहाने अफ्रीकी लोगों पर कर रहा अत्याचार इस भयावह परिस्थिति में चीन के जिन प्रांतों की सीमा रूस से लगती है, वहां पर संक्रमण में बढ़ोतरी देखी जा रही है. उत्तरी-पूर्वी हेइलोंगजियांग प्रांत के स्वास्थ्य अधिकारियों ने बताया कि शुक्रवार को यहां पर संक्रमण के कुल 23 नए मामलों का पता चला, इनमें 22 चीनी नागरिक रूस से राजधानी हार्बिन पहुंचे थे. इसी तरह इनर मंगोलिया में शनिवार सुबह तक संक्रमण के 27 मामले दर्ज किए हैं. ये सभी लोग भी रूस से यहां आए हैं. वहीं दक्षिणी चीन के सबसे बड़े शहर गुआंग्झू में रहने वाले अफ्रीकी समुदाय के लोगों ने संक्रमण के संदेह में स्थानीय अधिकारियों पर उत्पीड़न का आरोप लगाया है. उनका कहना है कि उनसे ना केवल घर खाली कराए जा रहे हैं बल्कि क्वांरटाइन में भेजने के साथ ही बड़े पैमाने पर टेस्टिंग भी कराई जा रही है. WHO का बड़ा बयान, कोरोना का पता लगाने के लिए इस टेस्ट को बताया सबसे अहम् चीन के साथ व्यापार में भारत सरकार कर सकती है बड़ा बदलाव कोरोना : भारत को लेकर WHO ने स्वीकारी यह गलती