जयपुर: राजस्थान में प्रतिबंधित आतंकी संगठन ‘स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ़ इंडिया (SIMI)’ के 12 आतंकियों को आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई गई है। वहीं, 1 आरोपित को साक्ष्यों के अभाव में बरी कर दिया गया। जयपुर की जिला अदालत ने मंगलवार (मार्च 30, 2021) को दोषियों को आतंकी ठहराते हुए आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई। दोषी करार दिए गए आतंकियों में अधिकतर इंजीनियरिंग के छात्र थे।
ये आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन के लिए कार्य करते थे। 2014 में ATS (आतंक निरोधी दस्ता) और SOG (स्पेशल ऑपरेशन्स ग्रुप) ने अरेस्ट किया था। इनमें से 6 सीकर के, 3 जोधपुर के, एक-एक जयपुर और पाली के और एक बिहार के गया का रहने वाला है। वहीं जोधपुर के एक अभियुक्त को बरी कर दिया गया। ये मामला SIMI के स्लीपर सेल से जुड़ा हुआ है। ये राजस्थान में आतंकी वारदातों को अंजाम देने के लिए बम वगैरह बना रहे थे।
ATS के मुताबिक, सिमी की स्लीपर सेल को एक्टिव करने के लिए जयपुर से गिरफ्तार किए गए मारुफ के रिश्तेदार उमर ने इंटरनेट के माध्यम से संपर्क कर इन युवकों को संगठन से जोड़ा था। फिर इन्होंने आतंकी गतिविधियों में सक्रियता बढ़ा दी थी। इससे पहले कि ये किसी बड़ी वारदात को अंजाम देते, सभी पकड़े गए। 7 साल तक अदालत में चले ट्रायल में अभियोजन पक्ष ने 178 गवाह और 506 डॉक्यूमेंट्री एविडेंस पेश किए। फर्जी कागज़ातों से सिम खरीदने, जिहाद के नाम पर फंड जुटाने, आतंकियों को पनाह देने और बम विस्फोट के लिए रेकी करने जैसे आरोपों में अदालत ने इन्हें दोषी पाया है।
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