जयपुर : पिछड़ा वर्ग के वर्गीकरण की मांग को लेकर गुर्जरों की आंदोलन को लेकर शनिवार को सचिवालय में छह घंटे हुई वार्ता के सकारात्मक नतीजे सामने आए .राज्य सरकार और गुर्जरों के बीच उन्हीं 16 बिंदुओं पर समझौता हो गया, अब गुर्जर इस सरकार के शेष कार्यकाल तक आंदोलन नहीं कर पाएंगे .
बता दें कि गुर्जरों से समझौता हो जाने से वसुंधरा सरकार ने राहत की साँस ली है .समझौते में गुर्जर नेताओं को आंदोलन नहीं करने के लिए बाध्य कर दिया गया है .गुर्जर समाज राज्य सरकार के शेष बचे कार्यकाल में आंदोलन ही नहीं कर सकेगा. सहमति यह बनी है कि केंद्र में ओबीसी वर्गीकरण के लिए बनी जस्टिस रोहिणी कमेटी की सिफारिशें लागू होने के बाद ही राज्य सरकार इसका राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग से अध्ययन कराएगी.
उल्लेखनीय है कि कमेटी की सिफारिशों के अध्ययन और मंथन में पांच से छह महीने लग जाएंगे तब तक इस सरकार का कार्यकाल खत्म होगा या आचार संहिता लग जाएगी ऐसी में गुर्जर आंदोलन नहीं कर पाएंगे. समझौते के बाद गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला ने भी आंदोलन नहीं करने की घोषणा कर दी है.मंत्रिमंडलीय उप समिति के अध्यक्ष राजेंद्र राठौड़ ने बताया कि 4 जून को राजस्थान सरकार रोहिणी कमेटी के समक्ष अपना प्रस्तुतिकरण देगी और आंकड़ों से अवगत कराएगी. यह समझौता दोनों पक्षों के सकारात्मक प्रयास का नतीजा है.
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