यरुशलम: यरुशलम की अल अक्सा मस्जिद पर जुमे की नमाज के समय से शुरू हुआ संघर्ष अब इजरायल और फलस्तीनियों के बीच युद्ध का रूप लेता जा रहा है। 2014 के बाद पहली दफा इस तरह का संघर्ष देखने में आया है। बीते मंगलवार की रात फलस्तीनी इस्लामी गुट हमास ने इजरायल के कई शहरों पर एक के बाद एक कई रॉकेट दागे। बता दें कि हमास को इजरायल समेत दुनिया के कई देशों ने आतंकवादी संगठन घोषित कर रखा है।
इजरायल पर दागे गए रॉकेटों की तादाद को लेकर अलग-अलग दावे किए जा रहे हैं। रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में इजरायली अधिकारियों के हवाले से रॉकेट हमलों की संख्या 480 बताई गई है। कुछ रिपोर्टों में 300 तो कुछ में 200 से ज्यादा रॉकेट दागे जाने की बात कही गई है। वहीं, हमास ने मंगलवार की रात तेल अवीव पर 130 रॉकेट दागने की बात कही है। हालाँकि गाजा पट्टी से दागे गए अधिकतर रॉकेट को आयरन डोम ने आसमान में ही नष्ट कर दिया। बता दें कि यह एक मिसाइल डिफेंस सिस्टम है जो रॉकेट की पहचान कर जवाबी मिसाइल लॉन्च करता है। इससे रॉकेट हवा में ही नष्ट हो जाता है।
तेल अवीव के अलावा अश्कलोन और होलोन शहर पर भी हमला किए जाने की खबरें सामने आ रही हैं। अश्कलोन में ऐसे ही एक हमले में केरल की रहने वाली भारतीय महिला सौम्या संतोष की मौत हो गई। वह एक इजरायली महिला की केयर टेकर के रूप में काम कर रही थीं। रॉकेट के हमले में वह इमारत ध्वस्त हो गई, जिसमें सौम्या और यह महिला रहती थीं। मृतकों की संख्या को लेकर भी रिपोर्टों में अलग-अलग दावे हैं। रॉयटर्स की रिपोर्ट में यह आंकड़ा 35 बताया जा रहा है। इनमें 32 फलस्तीनी और 3 इजरायली हैं।
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