नई दिल्ली. सुखोई फाइटर जेट बनाने वाली हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड कंपनी ने कहा है कि वो बिना किसी सरकारी फंडिंग के पांचवे जेनरेशन की फाइटर जेट बनाने को तैयार है. लेकिन ये तभी हो सकता है जब केंद्र सरकार रुस, के साथ प्रस्तावित संयुक्त उपक्रम के साथ जाने की हामी भरता है.
हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स प्रमुख टी सुवर्णा राजू ने कहा, नासिक स्थित अत्याधुनिक लड़ाकू बनाने वाली यूनिट को पांचवे जेनरेशन की फाइटर जेट बनाने के लिए किसी तरह के अतिरिक्त राशी की ज़रूरत नहीं होगी. उन्होंने कहा कि, अगर सरकार प्रस्तावित भारत-रूस के संयुक्त उद्यम को आगे बढ़ाने की अनुमति देती है, तो एफजीएफए बन सकते हैं.
उन्होंने कहा, पांचवे जेनरेशन की फाइटर जेट और सुखोई MKI जेट के बीच काफी संरचनात्मक समानता है. साथ ही नासिक वाली ये यूनिट नए जेनरेशन की फाइटर जेट प्लेन बनाने की सुविधाओं से पूरी तरह लैस है जिसके लिए भारत और रुस के बीच एक दशक से बातचीत चल रही है.
बता दे कि, भारतीय वायुसेना के लिए 222 लड़ाकू विमानों में से 35 विमानों की अंतिम खेप उपलब्ध करा दिए जाने के बाद नासिक स्थित प्रतिष्ठान कार्यरहित हो सकता है. भारत और रूस ने एफजीएफए परियोजना के लिए 2007 में एक अंतर सरकारी समझाौते पर हस्ताक्षर किए थे, लेकिन इस पर अब तक कोई ठोस फैसला नहीं किया गया है.
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