शिमला। बहुचर्चित कोटखाई गुड़िया दुराचार और हत्या मामले में हिमाचल हाईकोर्ट ने कड़ा रुख दिखाते हुए सीबीआई निदेशक को अपना निजी हलफनामा दायर कर स्टेटस रिपोर्ट देने के आदेश दिए हैं। सीबीआई ने कोर्ट में सील्ड कवर में स्टेटस रिपोर्ट पेश की। हाईकोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा कि क्या कोई ऐसी एजेंसी नहीं है जो इस केस को सॉल्व करे। हाईकोर्ट ने यह टिप्पणी भी की कि सीबीआई कहे कि यह केस ब्लाइंड है और कुछ भी पता नहीं चल रहा है।
गुड़िया केस में सी.बी.आई. की छानबीन करीब 6 माह के बाद भी किसी नतीजे पर नहीं पहुंची है, ऐसे में जांच एजैंसी को मामले से जुड़े आरोपियों की सूचना देने वाले को 10 लाख रुपए का ईनाम देने की घोषणा करनी पड़ी है। सी.बी.आई. की 3 अलग-अलग टीमें मामले की जांच में जुटी हुई हैं, ऐसे में देखना होगा कि केंद्रीय जांच एजैंसी आगामी दिनों में उक्त बहुचर्चित मिस्ट्री को लेकर क्या खुलासा करती है।
सीबीआई ने जिस तरह से इस मामले में दस लाख रुपये का इनाम रखा है, उससे तो साफ हो रहा है कि इनके हाथ कुछ नहीं आया है। अगर इन लोगों से कुछ नहीं हो पा रहा है तो इस प्रकरण की छानबीन एनआईए को क्यों नहीं दी जाती? इस पर कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय करोल ने मौखिक तौर पर ही उन्हें कहा कि उनके पास कोई सुराग हो तो वे सीधे तौर पर सीबीआई को दें। वरना वह इसे प्रदेश उच्च न्यायालय को भी दे सकते हैं।
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