सीबीआई ने आईडीबीआई बैंक के 15 कर्मचारियों सहित एक निजी कम्पनी के 24 कर्मचारियों के खिलाफ घोटाले का मामला दर्ज किया है. बैंक अधिकारियों पर कंपनी के नाम से 600 करोड़ का फर्जी ऋण स्वीकृत कराने का आरोप है.
आपको बता दें कि आईडीबीआई बैंक ने 6 हजार करोड़ से अधिक के एनपीए की जानकारी छुपाई थी. रिजर्व बैंक के अनुसार बैंक ने 6, 186 करोड़ के एनपीए के बारे में जानकारी नहीं दी.रिजर्व बैंक को बाद में पता चला कि यह ऋण राशि वित्त वर्ष 2016 की थी .जिसे छुपाया गया था.इसलिए भारतीय रिजर्व बैंक ने आईडीबीआई बैंक पर कुछ दिनों पहले 3 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था.
उल्लेखनीय है कि रिजर्व बैंक के नियमों के अनुसार सभी बैंकों के लिए यह नियम हैं कि अगर उनका एनपीए 15 प्रतिशत से अधिक है तो इसकी जानकारी सार्वजनिक करनी होती है, आईडीबीआई का एक चौथाई से लोन एनपीए हो चुका है.रिजर्व बैंक इसके पूर्व एक्सिस बैंक पर 3 करोड़ रुपये, यस बैंक पर 6 करोड़ रुपये और आईसीआईसीआई बैंक पर 58.9 करोड़ रुपये पर भी जुर्माना लगा चुका है. आईडीबीआई बैंक की आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में बैंक की पांच शाखाओं से 773 करोड़ रुपये के फर्जी ऋण जारी किए जाने का मामला भी सामने आया था .
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