कांग्रेस राज के बाद, देश में मोदी लहर से भाजपा सरकार आई. देश में कभी भी किसी चेहरे को जनता से इतना भरोसा नहीं था जितना मोदी से था. आज चार साल होने को है. चुनाव से पहले कई दावे किये गए जिससे देश को भ्रष्टाचार से मुक्ति मिलने की बात की गई थी लेकिन अफ़सोस उस क्षेत्र में कोई काम होता दिखाई नहीं दिया, उल्टा देश में करोड़ो के घोटाले आये दिन देखने को मिलते है. अब एक बार फिर ट्रांसपेरेंसी इंटरनेशनल की रिपोर्ट आई जिसमें भारत अब पाकिस्तान के पास है.
रिपोर्ट के मुताबिक भ्रष्टाचार में भारत का स्कोर पुराने अंक के बराबर है. हालांकि रैकिंग में जरूर कुछ सुधार हुआ है. ये अलग बात है कि बीते सालों की अपेक्षा भारत को इस बार केवल 2 रैंक की बेहतरी हुई है. 2016 में यह 79वें स्थान पर था और अब 81वें नंबर पर पहुंच गया है. 2017 में ट्रांसपेरेंसी इंटरनेशनल ने 180 देशों में सर्वे किया है, जिसमें भारत का नंबर 81वां है. जबकि 2016 में 176 देशों के बीच यह सर्वे किया गया था और तब भारत का स्थान 79वां था.
मोदी सरकार का कार्यकाल अपने अंतिम समय में है. चार साल पुरे होते-होते मोदी सरकार भ्रष्टाचार पर सिर्फ हवाई बयान बाजी करती नजर आई है. वहीं मोदी के नाक के नीचे ललित मोदी, विजय माल्या और नीरव मोदी देश की अर्थव्यवस्था को भारी चोट पंहुचा कर देश का पैसा विदेश में ले जाकर अय्याशी कर रहे है वहीं दूसरी ओर देश में गरीब खाना नहीं मिलने पर अपने बच्चों सहित घर के पंखे से फांसी लगा लेता है.
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