दिल्ली : परीक्षा के सीजन के साथ साथ पेपर लीक होने का भी सीजन चल रहा है. सीबीएसई (केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड) के 10वीं गणित और 12वीं अर्थशास्त्र के पर्चे लीक होने का मामला अभी ठंडा भी नहीं पड़ा था कि अब मध्य प्रदेश में फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (FCI) की परीक्षा पेपर लीक होने का मामला सुर्खियों में है. मध्य प्रदेश की स्पेशल टास्क फोर्स (STF) रविवार को इस मामले की जांच के लिए 50 लोगों को हिरासत में लिया है.
एसटीएफ ने पेपर लीक मामले में पूछताछ के लिए दो एजेंटों और 48 परीक्षार्थियों को हिरासत में लिया है. हाथ से लिखे परीक्षा पर्चे और आंसर शीट्स भी जब्त किए गए हैं, जिनके आधार पर आगे की जांच की जाएगी. मध्य प्रदेश में एफसीआई में 217 पदों के लिए रविवार को 132 केंद्रों पर परीक्षा होनी थी. लगभग 1 लाख परीक्षार्थियों ने आवेदन दिए थे. बताया जा रहा है कि परीक्षा से एक दिन पहले ही पेपर लीक हो गया. डाटा लीक, एसएससी स्कैम, सीबीएसई पेपर लीक को लेकर विपक्ष पहले ही मोदी सरकार को घेर रही है. मध्य प्रदेश व्यावसायिक परीक्षा मंडल (व्यापम) घोटाले को लेकर शिवराज सरकार निशाने पर रही है.
अब एफसीआई पेपर लीक के बाद विपक्ष को एक और मौका मिल गया है. वहीं सीबीएसई पेपर लीक मामले में अब तक दो टीचर और एक कोचिंग सेंटर के मालिक को गिरफ्तार किया गया है. क्राइम ब्रांच सीबीएसई परीक्षा के निरीक्षकों से भी पूछताछ करेगी. इन सब के बीच में लटक रहे है वे छात्र- छात्राएं जिन्होंने इन परीक्षाओं के लिए सहि मे कड़ी मेहनत की थी और अब विरोध प्रदर्शन के बैनर लिए सड़कों पर है.
सीबीएसई पेपर लीक मामले में छात्र बना व्हिसल ब्लोअर
सीबीएसई पेपर लीक: दोबारा परीक्षा के विरोध में छात्र सड़क पर
12वीं के अर्थशास्त्र की परीक्षा 25 अप्रैल को