कहते हैं कि मोर जितना खूबसूरत दिखता है उतने ही खूबसूरत उसके पंखों के फायदे भी हैं जी हाँ, हमारे देवी -दवताओं को मोर और मोरपंख दोनों ही अत्यंत प्रिय हैं फिर वह मां सरस्वती, श्रीकृष्ण, मां लक्ष्मी, इन्द्र देव, कार्तिकेय हो या फिर श्री गणेश. सभी को मोर पंख किसी न किसी रूप में प्रिय हैं. आपको बता दें कि पौराणिक काल में महर्षियों द्वारा इसी मोरपंख की कलम बनाकर बड़े-बड़े ग्रंथ लिखे गए हैं जिन्हे आप सभी ने टीवी में देखा ही होगा. अब आज हम आपको बताने जा रहे हैं मोरपंख के बारे में कुछ ख़ास बातें. कहते हैं यह किसी भी स्थान को बुरी शक्तियों और प्रतिकूल चीजों के प्रभाव से बचाकर रखता है. तो आइए जानते हैं और बातें.
1. मोर पंख की जितना महत्व भारत के लोगों के लिए है शायद ही किसी अन्य देश के लोगों के लिए होगा, भारत में माना जाता है कि मोर नकारात्मक ऊर्जा को दूर करने में सबसे प्रभावशाली है.
2. 20वीं शताब्दी के उत्तरार्ध में पश्चिमी देशों के लोग मोरपंख को दुर्भाग्य का सूचक मानते थे लेकिन मोर पंख की शुभता का अनुभव होने के बाद उसे शुभ चिन्ह के रूप में स्वीकार कर लिया गया है.
3. आपको बता दें कि ग्रीक की पौराणिक कथाओं के अनुसार मोर को 'हेरा' के साथ संबंधित किया जाता है मान्यता है कि आर्गस, जिसकी सौ आंखें थीं, उसके द्वारा हेरा ने मोर की रचना की. यही वजह है कि ग्रीक लोग मोर के पंखों को स्वर्ग और सितारों की निगाहों के साथ जोड़ते हैं.
4. कहा जाता है कि हिंदू धर्म में मोर को धन की देवी लक्ष्मी और विद्या की देवी सरस्वती के साथ जोड़कर देखा जाता है और पूजा भी करते हैं.
5. कहते हैं कि लक्ष्मी सौभाग्य, खुशहाली और धन धान्य व संपन्नता के लिए पूजी जाती हैं वहीं मोर के पंखों का प्रयोग लक्ष्मी की इन्हीं विशेषताओं को हासिल करने के लिए किया जाता है. वहीं मान्यता यह भी है कि मोर पंख को बांसुरी के साथ घर में रखने से रिश्तों में प्रेम रस घुल जाता है.
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