दिल्ली : सिक्किम के मुख्यमंत्री पवन कुमार चामलिंग 24 सालों से सूबे के मुखिया है. जो एक रेकॉर्ड है. पश्चिम बंगाल के ज्योति बसु के रेकॉर्ड को तोड़ते हुए उन्होंने नया कीर्तिमान रच दिया है. आज की सियासी दौर में इस रिकॉर्ड को तोड़ पाना नामुमकिन ही लगता है. ज्योति बसु 23 सालों तक सीएम बने रहे थे.
जानिए पवन कुमार का सफर -
-12 दिसंबर 1994 को पहली बार पवन कुमार सिक्किम के मुख्यमंत्री चुने गए
-पवन कुमार ने नर बहादुर भंडारी सरकार में मंत्री थे
-अभी देश में अगर इनके रेकॉर्ड तोड़ने के आस-पास कोई दूसरे सीएम है तो वह हैं ओडिशा के नवीन पटनायक जो 2000 से राज्य के लगातार सीएम बने हुए हैं
-22 सितंबर 1950 में जन्मे पवन कुमार चामलिंग राजनीति में 1973 में आए
-1985 में पहली बार एमएलए बने। इसके बाद नरबहादुर भंडारी की सरकार में मंत्री बने
-1993 में उन्होंने अपनी पार्टी सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट बनाई और पार्टी बनाने के एक साल के अंदर ही वे सत्ता में आ गए, तब से वह लगातार सत्ता में हैं
-उनके दबदबे का अंदाजा इसी बात से लगा सकते हैं कि 2014 के विधानसभा चुनाव में 32 सीट में 29 सीट जीती और एकमात्र लोकसभा सीट भी जीती
-2009 में तो सभी 32 सीट जीतकर रेकॉर्ड बनाया, वहीं 2004 में 31 सीटें जीती थी.
-1994 से 2009 तक नरबहादुर भंडारी अपने चेले को चुनौती देने की असफल कोशिश करते रहे
-1994 से लेकर 2017 तक उन्होंने 14 कल्याणकारी योजनाएं लॉन्च की
-सिक्क्मि अकेला ऐसा राज्य है जहां पूरी तरह आर्गेनिक खेती होती है
-उन्होंने महिलाओं को नौकरी में 30 फीसदी आरक्षण दिया
-इन योजनाओं की बदौलत राज्य के लोगों के बीच पवन कुमार पॉप्युलर बने रहे
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