नई दिल्ली: कहा जाता है कि दो प्यार करने वालों को मिलने से कोई सीमा और सरहद नहीं रोक सकती है। ऐसा ही कुछ गुरुवार को भारत-नेपाल बॉर्डर पर स्थित झुलनीपुर में देखने को मिला है। बताया जाता है कि भारतीय दूल्हे ने नेपाली दुल्हन के घर पैदल पहुंचकर विधिपूर्वक शादी रचाई और शादी की सभी रस्में पूरी होने के बाद दुल्हन को पैदल लेकर ही बॉर्डर पर पहुंचा। वहां से वाहन से दंपती अपने घर पहुंचे।
जिले के रामपुर मीर के निवासी दूल्हे के पिता प्रदीप चौहान ने बताया कि उनके पुत्र की शादी नेपाल के नवलपरासी के गोकुल नगर सुस्ता गांव पालिका में राजेंद्र चौहान बीके पुत्री से तय हुई थी। तय कार्यक्रम के अनुसार, दूल्हा शादी के लिए सीमा पर पहुंचा तो कोरोना के कारण लगी रोक के चलते उसे वाहन से अंदर जाने के लिए मना कर दिया गया। वाहन के न जाने की स्थिति को देखते हुए दूल्हे ने भी अपने हौसले के सामने दोनों देशों की सरहद को भी छोटा साबित कर दिया और दुल्हन के घर पहुंचकर उसके साथ शादी की रस्मों को पूरा किया। शादी पूरी करने के बाद नेपाली दुल्हन भी अपने जीवनसाथी के साथ पैदल ही उसके घर के लिए रवाना हो गई।
लक्ष्मीपुर बॉर्डर पर आने के बाद वाहन से वे अपने घर पहुंचे, जहां पर परिवार वालों ने उनका स्वागत किया। दिनभर इस शादी को लेकर दूल्हा-दुल्हन की चर्चा होती रही।
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