चेन्नई: वह अपने आप को भगवान का आदमी कहता था। उसके पास कई लोग अपने अपराधों की माफी मांगने के लिए आते थे। वह लोगों को उनके गुनाहों की क्षमा दिलाने में लोगों की सहायता करने का दावा करता था, मगर वह खुद गुनाह कर बैठा। तमिलनाडु के एक चर्च का पादरी विजयन सैमुअल शनिवार को बाइक चोरी में धराया। पुलिस ने बताया कि 36 वर्षीय विजयन मूलता थेनी का कहने वाला है। वह मदुरै के बाहरी इलाके थानाक्कुलम में किराए का हॉल लेकर पार्थना हॉल संचालित करता था।
यहां सभी लोग उसके पास अपने अपनी गलतियों की माफी मांगने के लिए आते थे। वह विगत दो वर्षों से हॉल का संचालन कर रहा था। पुलिस ने बताया कि कोरोना वायरस के कारण लॉकडाउन किया गया, तो लोगों ने उसके हॉल में आना बंद कर दिया। लोगों का आना बंद हुआ तो उसके पास आने वाला दान भी रुक गया। यह हॉल उसने दस हजार रुपये प्रति माह के किराए पर लिया था। विजनय के पास किराया चुकाने के लिए रुपये नहीं थे।
इस वजह से पादरी ने सड़क पर खड़ी बाइकें चुराना चालु कर दिया। वह बाइकों को चाबियों से खोल लेता था और उन्हें स्टार्ट करके वहां से फरार हो जाता था। इस काम के लिए वह एसएस कॉलोनी, सुब्रम्नयमपुरम और थिरुमंगलम इलाके में लोगों पर निगाह रखने लगा। लोग बाइकें खड़ी करके जाते तो पादरी उन्हें चुरा लेता। वह बाइकों के फर्जी कागज़ात तैयार करवाकर उन्हें बेचता और रुपये कमाने लगा। विजयन ने इस किस्म की तीन बाइकें चुराकर अपने परिवार के लोगों को भी बेचीं। जो लोग उसके यहां प्रार्थना करने आते थे वह उनसे संपर्क करके उन्हें चोरी की बाइकें बेच देता था।
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