'अभिमन्यु, चक्रव्यूह, शिव की बारात, डर का माहौल..', लोकसभा में बजट पर बोल रहे नेता विपक्ष राहुल गांधी

'अभिमन्यु, चक्रव्यूह, शिव की बारात, डर का माहौल..', लोकसभा में बजट पर बोल रहे नेता विपक्ष राहुल गांधी
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नई दिल्ली: आज सोमवार (29 जुलाई) को लोकसभा में राहुल गांधी बजट पर बोलने के लिए खड़े हुए। इस दौरान लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा कि देश आज ' चक्रव्यूह ' में फंस गया है, जिसका प्रतिनिधित्व कमल का फूल (भाजपा का) कर रहा है, जिसे प्रधानमंत्री छाती पर पहनते हैं। राहुल गांधी ने यह भी आरोप लगाया कि देश में डर का माहौल है। 

राहुल गांधी ने लोकसभा में कहा कि, "हजारों साल पहले कुरुक्षेत्र में 6 लोगों ने अभिमन्यु को चक्रव्यूह में फंसाकर उसकी हत्या कर दी थी। मैंने थोड़ी रिसर्च की और पता चला कि चक्रव्यूह को पद्मव्यूह भी कहा जाता है - जिसका अर्थ है कमल का आकार। चक्रव्यूह कमल के आकार का होता है।" उन्होंने आरोप लगाया कि, "21वीं सदी में एक नया चक्रव्यूह रचा गया है - वह भी कमल के रूप में। प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) इसका प्रतीक अपनी छाती पर पहनते हैं। जो अभिमन्यु के साथ किया गया था, वही अब भारत के साथ किया जा रहा है - देश के युवाओं, किसानों, महिलाओं, छोटे और मध्यम व्यवसायों के साथ किया जा रहा है।'' राहुल गांधी ने कहा कि INDIA अलायन्स शिव की बरात है और लड़ाई अब चक्रव्यूह और शिव की बारात के बीच है

राहुल गांधी ने कहा कि, "अभिमन्यु की हत्या छह लोगों ने की थी। आज भी चक्रव्यूह के केंद्र में छह लोग हैं - नरेंद्र मोदी, अमित शाह, संघ प्रमुख मोहन भागवत, (राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार) अजीत डोभाल, अंबानी और अडानी।" स्पीकर ओम बिरला ने जब उन्हें टोका कि, जो लोग इस सदन के सदस्य नहीं हैं, या कभी नहीं रहे हैं, उनका नाम नहीं लीजिए। तो राहुल गांधी ने कहा कि, "अगर आप चाहें तो मैं एनएसए, अंबानी और अडानी का नाम छोड़ दूंगा और सिर्फ तीन नाम लूंगा। बाकी को मैं नंबर 4, नंबर 5 कहूंगा, या A1 और A2 कहूंगा।" 

राहुल गांधी ने यह भी आरोप लगाया कि देश डर के माहौल में जी रहा है। इस दौरान उन्होंने अपना फेवरेट डायलॉग भी बोला, जो उन्होने चुनाव के दौरान काफी इस्तेमाल किया था, ''डरो मत।'' राहुल ने कहा कि, "भारत में भय का माहौल है और यह भय हमारे देश के हर पहलू में व्याप्त है। मेरे दोस्त मुस्कुरा रहे हैं, लेकिन वे डरे हुए भी हैं। किसान नेता युवा सब डरे हुए हैं।" राहुल गांधी ने कहा कि, "भाजपा में केवल एक आदमी को प्रधानमंत्री बनने का सपना देखने की इजाजत है। अगर रक्षा मंत्री सोचें हैं कि वे प्रधानमंत्री बनना चाहें, तो यह बड़ी समस्या है, डर है। यह डर पूरे देश में फैल गया है।"

दरअसल, पहले ऐसी खबर आई थी कि, कांग्रेस सांसद मांग कर रहे हैं विपक्ष के नेता के तौर पर राहुल को सदन में बजट पर भाषण देना चाहिए। लेकिन, कांग्रेस के लोकसभा सांसदों के साथ बैठक में राहुल गांधी ने कहा था कि चूंकि वह संसद के विशेष सत्र के दौरान भाषाण दे चुके हैं, इसलिए उनका मानना ​​है कि हर बार उनके बोलने के बजाय, बारी-बारी से दूसरे सांसदों को भी बोलने का मौका दिया जाना चाहिए। राहुल गांधी बोलने से परहेज करना चाह रहे थे, लेकिन कांग्रेस सांसद उन पर जोर दे रहे थे।

लेकिन, कांग्रेस सांसद इस बात पर जोर दे रहे थे कि विपक्ष के नेता के तौर पर राहुल के संबोधन का खासा असर होगा और इसलिए उन्हें बोलना चाहिए। लेकिन तब तक राहुल कोई अंतिम फैसला नहीं ले पाए थे, लेकिन सांसदों के दबाव के चलते उन्होंने आज फैसला लिया और बजट पर ये धमाकेदार भाषण दिया। 

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