नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट बुधवार को आधार कार्ड की वैद्यता पर बड़ा फैसला सुना सकता है. आधार कार्ड से किसी की निजता का उल्लंघन होता है या नहीं, इस मामले पर 17 जनवरी से सुनवाई शुरू हुई थी. इससे पहले अदालत ने आधार की अनिवार्यता पर सुनवाई पूरी कर ली थी, जिसके बाद कल अदालत ये फैसला सुनाएगी की आधार कार्ड से निजता के मौलिक अधिकार का उल्लंघन होता है या नहीं. याचिकर्ताओं ने यह मांग भी की थी कि आधार की अनिवार्यता को ख़त्म कर देना चाहिए. अब कल के सुप्रीम कोर्ट के फैसले से ये भी साफ़ हो जाएगा कि आधार अनिवार्य रहेगा या नहीं.
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मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा और जस्टिस ए के सीकरी, ए एम खानविलकर, डी वाईचंद्रचुद और अशोक भूषण के पांच न्यायाधीश संविधान बेंच ने अपने फैसले को आरक्षित करने से पहले सभी दलों के तर्क को सुना था. इस मामले में अदालत ने कुल 38 दिनों तक सुनवाई की थी, जिसके बाद जजों की पांच सदस्यीय संवैधानिक पीठ ने 10 मई को फैसला सुरक्षित रख लिया था.
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आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने आधार कार्ड को बैंक, मोबाइल नंबर, गैस सब्सिडी आदि से अनिवार्य रूप से जोड़ने के निर्देश दिए थे, जिसके बाद विपक्ष समेत कई लोगों ने मोदी सरकार के इस निर्देश पर सवाल खड़े किए थे और आधार की सुरक्षा को लेकर भी पीएम मोदी पर निशाना साधा था. कांग्रेस ने कहा था कि आधार डाटा बेस में सेंध लगाई जा सकती है, जिससे उपभोक्ता की निजता को खतरा हो सकता है.
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