देश का एकमात्र मंदिर जहाँ इंसान रूपी चेहरे में विराजित हैं श्री गणेश

देश का एकमात्र मंदिर जहाँ इंसान रूपी चेहरे में विराजित हैं श्री गणेश
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भगवान गणेश जिन्हें गजराज का रूप कहा जाता हैं. जल्द ही गणेश चतुर्थी आने वाली है जिसके लिए खासतौर से तैयारियां चल रहीं हैं. इस बार गणेश चतुर्थी की शुरुआत 13 सितम्बर से हो रहीं है. कुछ लोग अपने घर में मिटटी के गणेश जी बना रहे हैं तो कुछ मार्केट से बप्पा की खूबसूरत सी मूर्ति खरीद रहे हैं. आज तक आप सभी ने भगवान गणेश को गजमुख रूप में ही देखा होगा लेकिन आज हम आपको एक ऐसे मंदिर के बारे में बता रहे हैं जहां भगवान गणेश की गजरूपी मूर्ति नहीं बल्कि उनके असल चेहरे की मूर्ति स्थापित हैं.

जी हाँ... ये मंदिर तमिलनाडु में स्थित आदि विनायक मंदिर के नाम से जाना जाता हैं. दुनियाभर में इस मंदिर के चर्चे हैं और हो भी क्यों ना क्योकि आज तक बहुत कम लोगों ने ही भगवान गणेश की इंसान रुपी मूर्ति नहीं देखी होगी. ऐसा कहा जाता है कि आदि विनायक मंदिर दुनिया का एकमात्र ऐसा मंदिर हैं जहां पर भगवान गणेश की इंसान के चेहरे समान मूर्ति हैं. इस मंदिर की एक खास बात भी है और वो ये है कि यहां लोग अपने पितरों की शांति के लिए पूजन भी करवाते हैं. ऐसा कहा जाता है कि भगवान राम ने भी अपने सभी पूर्वजों की शांति के लिए यहां पर पूजा-पाठ करवाई थी. तब से ही ये परंपरा चलती आ रही हैं और अब सभी भक्तजन अपने पूर्वजों की शांति के लिए यहां पूजा करने आते हैं.

इन तस्वीरों में आप देख सकतें हैं ये मंदिर भले ही भव्य और खूबसूरत ना हो लेकिन ये अपनी खूबी के लिए जाना जाता हैं. वैसे तो लोग अपने पितरों की शांति के लिए नदी किनारे तर्पण करते हैं लेकिन इस मंदिर में सिर्फ पूजन करके पितरों को शांति दिलवाई जा सकती हैं और इसलिए इस जगह का नाम भी तिलतर्पणपुरी पड़ गया. दूर-दूर से लोग आदि विनायक मंदिर में आकर भगवान गणेश की अद्भुत प्रतिमा के दर्शन करते हैं.

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