नई दिल्ली: देश के प्रथम पीएम पंडित जवाहरलाल नेहरू पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की टिप्पणी के दौरान कई विपक्षी सांसदों ने संसद से वॉकआउट कर दिया। दरअसल, शाह ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) के मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र (UN) लेकर उसका अंतर्राष्ट्रीयकरण करने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री को जिम्मेदार ठहराया था।
शाह ने कहा कि, 'पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) की समस्या पंडित नेहरू के कारण हुई। अन्यथा, वह हिस्सा कश्मीर का होता। PoK के लिए नेहरूजी जिम्मेदार थे।" गृह मंत्री ने प्रथम पीएम द्वारा लिखे गए पत्र (नेहरू द्वारा शेख अब्दुल्ला को लिखा गया पत्र) का जिक्र करते हुए कहा कि 'नेहरू जी ने खुद कहा था कि यह उनकी गलती थी।'' गृह मंत्री शाह ने आगे कहा कि, ''ये कोई गलती नहीं थी, इस देश की इतनी सारी जमीन खोना एक बड़ी भूल थी।'' गृह मंत्री के अनुसार, जम्मू-कश्मीर को नेहरू की दो "भूलों" के कारण नुकसान उठाना पड़ा - युद्धविराम की घोषणा करना और कश्मीर मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र में ले जाना।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता ने कहा, "अगर तीन दिनों के बाद संघर्ष विराम होता, तो पीओके आज भारत का हिस्सा होता...दूसरा हमारे आंतरिक मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र में ले जाना है।" शाह ने यह भी कहा, ''पीओके हमारा है'', उन्होंने कहा कि वहां 24 सीटें आरक्षित हैं।'' शाह ने कहा, "पहले जम्मू में 37 सीटें थीं, अब 43 हैं। पहले कश्मीर में 46 थीं, अब 47 हैं और पीओके में 24 सीटें आरक्षित हैं क्योंकि पीओके हमारा है।" उनकी टिप्पणी जम्मू और कश्मीर आरक्षण (संशोधन) विधेयक, 2023 और जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन विधेयक, 2023 पर चर्चा के दौरान आई हैं, जब कांग्रेस के सांसद, मोदी सरकार द्वारा 370 हटाए जाने के फैसले की आलोचना कर रहे थे।
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