सदी के महानायक अमिताभ बच्चन आज 76 साल के हो गए हैं. इस उम्र में भी अमिताभ की फैन फॉलोविंग कम नहीं हुई है बल्कि उनके फैंस तो दिन पे दिन बढ़ते ही जा रहे हैं. आज भले ही अमिताभ करोड़ों दिलों पर राज कर रहे हो लेकिन एक समय ऐसा था जब उन्हें उनकी आवाज के चलते आकाशवाणी से रिजेक्ट कर दिया गया था. लेकिन अमिताभ की वो ही आवाज आज दुनियाभर में मशहूर है. बॉलीवुड के शहंशाह के जन्मदिन पर आज हम आपको उनकी फिल्मों के कुछ खास डायलॉग्स बता रहे हैं-
जंजीर
जब तक बैठने के लिए ना कहा जाए, शराफत से खड़े रहो, ये पुलिस स्टेशन है तुम्हारे बाप का घर नहीं.
दीवार
जाओ पहले उस आदमी का साइन लेकर आओ, जिसने मेरे हाथ पर ये लिख दिया. उसके बाद तुम जहां कहोगे वहां साइन कर दूंगा.
डॉन
डॉन को पकड़ना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है.
अग्निपथ
पूरा नाम विजय दीनानाथ चौहान, बाप का नाम दीनानाथ चौहान, मां का नाम सुभाषिनी चौहान, गांव मांडवा, उमर 36 साल, नौ महीना, आठ दिन, सोलहवां घंटा चालू है.
शोले
तुम्हारा नाम क्या है...बसंती
कालिया
हम जहां खड़े हो जाते हैं, लाइन वहीं से शुरू होती है.
दीवार
आज खुश तो बहुत होगे तुम.
नमक हलाल
आई कैन टॉक इंग्लिश, आई कैन वॉक इंग्लिश, आई कैन लाफ इंग्लिश बिकाज़ इंग्लिश इज वेरी फनी लैंग्वेज. भैरो बिकम्स ब्रायन, ब्रायन बिकम्स भैरो, बिकॉज दियर माइंड्स आर वैरी नैरो.
दीवार
आज मेरे पास बंगला है, गाड़ी है, बैंक बैलेंस है, क्या है तुम्हारे पास.
चुपके चुपके
गोभी का फूल, फूल होकर भी फूल नहीं, सब्जी है. इसी तरह गेंदे का फूल, फूल होकर भी फूल नहीं है.
शराबी
मूछें हो तो नत्थूलाल जैसी हो वरना ना हो.
शहंशाह
रिश्ते में तो हम तुम्हारे बाप होते हैं, नाम है शहंशाह.
दीवार
मैं आज भी फेंके हुए पैसे नहीं उठाता.
पिंक
'ना' का मतलब 'ना' ही होता है, 'ना' सिर्फ एक शब्द नहीं बल्कि एक वाक्य होता है, 'ना' अपने आप में इतना मजबूत होता है कि इसे किसी भी व्याख्या, एक्सप्लेनेशन या तर्क-वितर्क की जरूरत नहीं होती.
मोहब्बतें
परम्परा, प्रतिष्ठा और अनुशासन. ये इस गुरूकुल के तीन स्तम्भ है. ये वो आदर्श हैं, जिनसे हम आपका आने वाला कल बनाते हैं.